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रामचरितमानसः अब दिल्ली के पूर्व मंत्री और AAP MLA राजेंद्र पाल गौतम के बिगड़े बोल, विवादित शपथ पर गंवाया था मंत्रीपद

रामचरितमानसः अब दिल्ली के पूर्व मंत्री और AAP MLA राजेंद्र पाल गौतम के बिगड़े बोल, विवादित शपथ पर गंवाया था मंत्रीपद

Ramcharitmanas Controversy: रामचरितमानस पर बिहार के शिक्षा मंत्री चंद्रशेखर ने 11 जनवरी 2023 को नालंदा ओपन यूनिवर्सिटी के दीक्षांत समारोह में विवादित टिप्पणी की थी. इसके बाद रामचरितमानस को लेकर समाजवादी पार्टी नेता स्वामी प्रसाद मौर्य का भी विवादित बयान दिया था और कहा था कि करोड़ों लोग इस किताब को नहीं पढ़ते हैं और इसमें सब बकवास है.

राजेंद्र गौतम ने राजस्थान के अजमेर में एक प्रोग्राम के दौरान रामचरितमानस पर टिप्पणी की.  (Photo-Twitter)

राजेंद्र गौतम ने राजस्थान के अजमेर में एक प्रोग्राम के दौरान रामचरितमानस पर टिप्पणी की. (Photo-Twitter)

दिल्ली. रामचरितमानस को लेकर नेताओं के विवादित बयान लगातार सामने आ रहे हैं. अब दिल्ली के पूर्व मंत्री और आम आदमी पार्टी (AAP) के विधायक राजेंद्र पाल गौतम ने रामचरितमानस पर विवादित टिप्पणी की है. उन्होंने बिहार के शिक्षामंत्री के बयान का समर्थन किया है. बता दें कि बिहार के शिक्षा मंत्री ने रामचरितमानस को नफरती ग्रंथ बताया था. बता दें कि अक्टूबर 2022 में आप के विधायक को इससे पहले दिल्ली में एक जनसभा में ‘हिंदू विरोधी शपथ’ के चलते कैबिनेट मंत्री के पद से इस्तीफा देना पड़ा था.

मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक, अब राजेंद्र गौतम ने राजस्थान के अजमेर में एक प्रोग्राम के दौरान रामचरितमानस पर टिप्पणी की. गौतम का बयान सोशल मीडिया पर वायरल हुआ है. वायरल वीडियो में वह कह रहे हैं कि बिहार के मंत्री के बयान पर टीवी में डिबेट चल रही थी. शिक्षा मंत्री ने मनुस्मृति और रामचरितमानस पर विचार प्रकट किए तो पूरे देश का मीडिया उनके पीछे पड़ गया. मैं पूछना चाहता हूँ कि डॉ. चंद्रशेखर ने गलत क्या कहा? अपनी मर्जी से क्या कहा? जो मनुस्मृति और रामचरितमानस में लिखा है, इस पर उन्होंने यही तो कहा जो लिखा है, वह गलत है, स्त्री और दलित विरोधी है. क्या हमें चंद्रशेखर के साथ खड़ा नहीं होना चाहिए? क्या समतावादी और मानवतापसंद लोगों को आँख बंद कर के अँधे लोगों का अनुसरण करना चाहिए. डॉ.चन्द्रशेखर ने गलत क्या कहा, अपने मन से क्या कहा.

राजेंद्र गौतम ने कहा, “क्या रामचरितमानस में नहीं लिखा है ढोल…गँवार..शूद्र पशु नारी ये सब ताड़न के अधिकारी. वो व्याख्या कर रहे हैं कि ताड़न का मतलब देखना है, जबकि क्लीयर है कि ताड़न का मतलब पीटना. यदि इसका मतलब देखना ही है तो क्या नारी को घूरना चाहिए? क्या पीटना चाहिए? आपके धर्मशास्त्र हमें इंसान का दर्जा देने को तैयार नहीं हैं. तुम्हारी आस्था…आस्था है. हमारी बहन बेटियों की तो इज्जत लुट रही है. लोगों की जान जा रही है. आपकी तो आस्था को ठेस पहुँच रही है, लेकिन हमारी बस्तियाँ जलाई जा रही हैं.

मंत्री को देना पड़ा था इस्तीफा
गौरतलब है कि इससे पहले दिल्ली सरकार के मंत्री रहते हुए गौतम ने अक्टूबर 2022 को एक कार्यक्रम में शिरकत की थी और इसमें हिंदुओं का बौद्ध धर्म में धर्मांतरण किया गया. बौद्ध सोसायटी ऑफ इंडिया का यह विवादास्पद कार्यक्रम नई दिल्ली के झंडेवालान में डॉ. बीआर अंबेडकर भवन में आयोजित किया गया था. इस कार्यक्रम में लोगों को शपथ दिलाई गई कि वे हिन्दू देवी-देवताओं की पूजा नहीं करेंगे. शपथ का वीडियो वायरल होने के बाद गौतम को मंत्री पद छोड़ना पड़ा था.

कहां से शुरु हुआ था मामला

उधर, रामचरितमानस पर बिहार के शिक्षा मंत्री चंद्रशेखर ने 11 जनवरी 2023 को नालंदा ओपन यूनिवर्सिटी के दीक्षांत समारोह में विवादित टिप्पणी की थी. इसके बाद रामचरितमानस को लेकर समाजवादी पार्टी नेता स्वामी प्रसाद मौर्य का भी विवादित बयान दिया था और कहा था कि करोड़ों लोग इस किताब को नहीं पढ़ते हैं और इसमें सब बकवास है. साथ ही कुछ अंश को आपत्तिजनक बताते हुए उसे हटाने और बैन की मांग की थी.

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Tags: AAP, Arvind Kejriwal led Delhi government, Religion

FIRST PUBLISHED : January 24, 2023, 09:39 IST