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आख‍िर बचपन में ब‍िहार के सुपरकॉप श‍िवदीप लांडे ने क्‍यों सोची थी प‍िता की हत्‍या की बात? क‍िया खुलासा


बिहार के चर्चित आईपीएस अफसरों में से एक शिवदीप लांडे एक बार फिर से सुर्खियों में है. (Photo: News18)

बिहार के चर्चित आईपीएस अफसरों में से एक शिवदीप लांडे एक बार फिर से सुर्खियों में है. (Photo: News18)

patna news: डीआईजी लांडे ने बहुत ही ईमानदारी और साफगोई से कहा कि इसकी वजह साफ थी. दरअसल, शिवदीप लांडे के पिता पेशे से स ...अधिक पढ़ें

हाइलाइट्स

डीआईजी शिवदीप लांडे अपने द्वारा लिखी गई किताब 'वूमेन बिहाइंड द लायन' के दूसरे संस्करण के विमोचन के मौके पर पटना पहुंचे थे.
डीआईजी ने अपनी किताब को मां को समर्पित करते हुए कहा कि उनके जैसी कहानी हर दो से तीन परिवार में देखने को मिलती है.

बिहार के चर्चित आईपीएस अफसरों में से एक शिवदीप लांडे एक बार फिर से सुर्खियों में है. सुर्खियों में आने का फिर से कारण है शिवदीप लांडे ने पटना में खुद ही द‍िया. दरअसल, डीआईजी शिवदीप लांडे अपने द्वारा लिखी गई किताब ‘वूमेन बिहाइंड द लायन’ के दूसरे संस्करण के विमोचन के मौके पर पटना पहुंचे थे. इस विमोचन के मौके पर संवाददाताओं से बातचीत करते हुए शिवदीप लांडे ने अपनी किताब के बारे में जानकारी देते हुए बताया कि बचपन में उनके जो हालात थे और जो पारिवारिक परिस्थितियां थी उससे वे गुस्से में आ गए थे. इतना ही नहीं एक बार गुस्से में अपने पिता की हत्या कर देने की सोचने लगे थे.

डीआईजी लांडे ने बहुत ही ईमानदारी और साफगोई से कहा कि इसकी वजह साफ थी. दरअसल, शिवदीप लांडे के पिता पेशे से सरकारी कर्मी थे, लेकिन वे नशे के आदी थे. ड्रग एडिक्ट होने के कारण परिवार की स्‍थित‍ि खराब थी. पिता की नौकरी छूट जाने के बाद पर‍िवार के हालात और खराब हो गए थे. ऐसे में शिवदीप लांडे की मां ने परिवार को संभाला और अपने दोनों बेटों को बेटियों को संभल साहस धैर्य अनुशासन का पाठ पढ़ाया. शिवदीप लांडे मानते हैं कि अपनी मां से प्रेरित होकर उन्होंने न केवल इंजीनियरिंग की पढ़ाई पास की बल्कि आईपीएस बनकर अपने कंधे पर अशोक स्तंभ लगाया.

उन्होंने अपनी किताब को मां को समर्पित करते हुए कहा कि उनके जैसी कहानी हर दो से तीन परिवार में देखने को मिलती है. उन्होंने कहा कि हर एक आदमी की सफलता में उसकी किसी औरत का योगदान होता है और उनकी सफलता में उनकी मां का बहुत बड़ा योगदान है. इस मौके पर संवाददाताओं द्वारा पूछे जाने पर शिवदीप लांडे ने माना कि उन्हें बिहार ने बहुत कुछ दिया है और ऐसे में आने वाले दिनों में यह बिहार पर आधारित एक पुस्तक लिखना चाहते हैं. लांडे ने कहा कि उन्हें अपनी मां से इस कदर प्रेरणा मिली कि महिलाओं के मामले में वे हमेशा संवेदनशील रहे हैं.

सहरसा में डीआईजी का पद संभालने के बाद जब उन्होंने रिव्यू किया. तब ज्यादातर महिलाएं मामले में महिलाओं से संबंधित थे. उन्होंने कहा कि प्राथमिकता के आधार पर महिलाओं से जुड़े हुए मामलों का उन्होंने जल्द से जल्द निपटारा किया और उन्हें न्याय दिलाने में हर संभव सहयोग किया.

Tags: Bihar News, PATNA NEWS

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