कोरोना का संक्रमण एक बार फिर लोगों को डरा रहा है.
पटना. मार्च 2020 के बाद से ही जिस रफ्तार से कोरोना की गति बढ़ी उसने देश-प्रदेश की पूरी व्यवस्था को चौपट कर दिया. उस दौरान बड़ी संख्या में प्रवासी मजदूर अपने अपने घरों की तरफ बिहार को लौटे थे. हालांकि बाद में स्थिति संभली तो अधिकतकर लोग फिर अपने-अपने कार्यों पर लौट गए. व्यवस्था कुछ-कुछ पटरी पर लौट ही रही थी कि अब कोरोना की तीसरी लहर ने दस्तक दे दी है. साथ ही ओमिक्रॉन की आशंका से कई राज्यों में कुछ पाबंदियों भी लग गई हैं. वहीं देखने में आ रहा है कि कुछ प्रवासी मजदूरों ने एक बार फिर अपने घरों का रुख कर लिया है.
बिहार के विभिन्न रेलवे स्टेशनों पर आ रहे प्रवासी मजदूरों को कोरोना संक्रमण का डर है. लौट रहे प्रवासी मजदूरों का कहना है कि यदि शहरों में फिर से कोरोना का संक्रमण पहले की तरह बढ़ा तो उनके लिए भी स्थिति गंभीर हो जाएगी. ऐसे में समय रहते ही घर पहुंचना और संक्रमण से बचे रहना उनकी प्राथमिकता है.
उल्लेखनीय है कि बिहार से काम करने वाले मजदूरों की संख्या दिल्ली, महाराष्ट्र, पंजाब व हरियाणा में ज्यादा है. वहीं दिल्ली में तो शुक्रवार की शाम से वीकेंड कर्फ्यू लगाया गया है. पंजाब, यूपी, गोवा, मणिपुर और उत्तराखंड में चुनाव आयोग ने रैलियों व चुनाव सभाओं पर रोक लगा दी गई है.
इसी तरह कई अन्य राज्यों में भी लगातार पाबंदियां सख्त की जा रही हैं. ऐसे में प्रवासी रेल और बसों के माध्यम से अपने घर पहुंच कर कोरोना का सामना करने का मन बना रहे हैं. जानकार बताते हैं कि अगर कोरोना संक्रमण की रफ्तार ऐसी ही रही तो दो से चार दिनों के भीतर लौटने वालों की संख्या बढ़ सकती है. वहीं कोरोना संक्रमण एक बार फिर देश में तेजी से पैर पसार रहा है जो सभी के लिए चिंता का कारण बन गया है.
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Tags: Corona crisis, Migrant labor, Migrant Workers
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