नई दिल्ली. सरकार एक तरफ तो LIC का IPO उतारने की तैयारियां पूरी करने में लगी है, तो दूसरी ओर इस बीमा कंपनी से बड़े टैक्स की वसूली पर भी तकरार जारी है. LIC की ओर से जमा कराए ड्राफ्ट पेपर में पता चला है कि कंपनी पर सरकार ने करीब 75 हजार करोड़ की टैक्स देनदारी बताई है.
ड्राफ्ट पेपर के मुताबिक, LIC पर डाइरेक्ट और इनडाइरेक्ट टैक्स के 63 बड़े मामले चल रहे हैं. इसमें डाइरेक्ट टैक्स के ही 37 मामले हैं, जिनसे 72,762.3 करोड़ रुपये की वसूली होनी है. इनडाइरेक्ट टैक्स के 26 मामलों से 2,132.3 करोड़ रुपये वसूले जाने हैं. इस तरह कंपनी पर कुल 74,894.5 करोड़ रुपये का टैक्स बकाया निकल रहा है. यह देश की किसी भी एक कंपनी पर सबसे ज्यादा बकाया टैक्स है.
टैक्स चुकाने के लिए अपना पैसा नहीं देना चाहती कंपनी
LIC ने अपने ड्राफ्ट पेपर में दो टूक कहा है कि वह टैक्स की देनदारियां चुकाने के लिए अपने फंड का इस्तेमाल नहीं करेगी. कंपनी का कहना है कि कई मामलों में कोर्ट की ओर से आए डिसीजन सही नहीं हैं और वह इनके खिलाफ आगे भी अपील करेगी. इन मामलों में भी 24,728.03 करोड़ रुपये शामिल हैं.
इनकम टैक्स डिपार्टमेंट का आरोप-LIC ने छुपाई अपनी कमाई
LIC के खिलाफ चल रहे आयकर मामलों को लेकर इनकम टैक्स डिपार्टमेंट का कहना है कि इनमें से अधिकतर मामलों का विवाद इसलिए चल रहा, क्योंकि कंपनी अपनी टोटल इनकम छुपाने का काम किया है. विभाग का कहना है कि इनमें से कई मामले तो वर्षों पुराने हैं. कंपनी ने 2005 के बाद कई बार अपनी इनकम का सही खुलासा नहीं किया, जिसकी वजह से विवाद पैदा हुए.
निवेशकों पर क्या होगा असर
अगर LIC इन मामलों में अपना केस हार जाती है और उसे टैक्स के रूप में मोटा फंड चुकाना पड़ता है तो कंपनी के पब्लिक शेयरहोल्डर्स को मिलने वाले रिटर्न में भी गिरावट आ सकती है. इतना नहीं LIC का मार्केट शेयर भी नीचे आ सकता है, जो भविष्य में उसकी कमाई पर असर डालेगा. कंपनी के पास सितंबर, 2021 तक 26,122.95 करोड़ की नकदी थी.
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