नई दिल्ली. पीपीएफ यनी पब्लिक पब्लिक प्रोविडेंट फंड में अगर आपने भी अपने भविष्य के लिए पैसा लगाया है तो ये खबर आपके लिए बेहद महत्वपूर्ण है. क्योंकि सरकार ने पीएफ खाते से जुड़े कई नए नियमों को बदल दिया हैं. नए नियमों के तहत अब पीपीएफ अकाउंट को 5 वित्तीय वर्ष के पूरा होने के बाद समय से पहले बंद करने की अनुमित है. इसके अलावा सरकार ने कर्ज़ के नियमों को भी बदल दिया है. मतलब साफ है कि अगर आपने अपने पीपीएफ खाते के बदले कर्ज लिया है, तो आपको एक फीसदी कम ब्याज चुकाना होगा. आपको बता दें कि पीपीएफ खाते में सालाना 1.5 लाख रुपये तक के निवेश पर सेक्शन 80C के तहत टैक्स छूट मिलती है. ब्याज आय पर भी कोई टैक्स नहीं लगता है. मैच्योरिटी पर मिलने वाली रकम भी टैक्स के दायरे में नहीं आती है. इतने सारे टैक्स बेनिफिट को देखते हुए लोग अपने बैंक/पोस्ट ऑफिस में पीपीएफ खाता खुलवाते हैं. इसकी मदद से लोग काफी रकम जोड़ लेते हैं.
(1) जमा पैसे को जब्त नहीं किया सकता- वित्त मंत्रालय की ओर से जारी नए नोटिफिकेशन के तहत पीपीएफ में जमा पैसे को जब्त नहीं किया जा सकता है. नई नियमावली का नाम है पब्लिक प्रोविडेंट फंड स्कीम-2019 (पीपीएफ योजना 2019).
>> इस नियमावली के लागू होने के बाद पीपीएफ से जुड़ी पिछली सारी नियमावलियां तत्काल प्रभाव से बेअसर हो गईं.
>> नए नियम के तहत पीपीएफ में जमा राशि को जब्त नहीं किया जा सकता. खाताधारक पर किसी कर्ज या देनदारी की स्थिति में यदि अदालत का भी कोई आदेश होगा, तब भी पीपीएफ में जमा राशि को जब्त नहीं किया जा सकेगा.
(2) 15 साल के बाद भी जमा कर सकते हैं पैसा- नए नियमों में मैच्योरिटी के बाद भी पीपीएफ अकाउंट में पैसे जमा कर सकने का प्रावधान है. जिस साल पीपीएफ का अकाउंट खुलता है, उस साल की समाप्ति के बाद 15 साल पूरे होने पर खाताधारक अपने खाते का विस्तार कर सकता है और उसमें पांच साल की अवधि के लिए और पैसे जमा कर सकता है.
(3) एक व्यक्ति के नाम पर सिर्फ एक पीपीएफ खाता खुलेगा- एक व्यक्ति के नाम पर सिर्फ एक पीपीएफ खाता खुल सकता है. खाता खोलने के लिए फॉर्म-1 में आवेदन किया जा सकता है.
>> कोई व्यक्ति ऐसे हर नाबालिग या मंदबुद्धि व्यक्ति के लिए भी पीपीएफ खाता खुलवा सकता है, जिसका वह अविभावक है.
>> नाबालिग या मंदबुद्धि व्यक्ति के नाम पर सिर्फ एक खाता ही खुल सकता है. किसी भी स्थिति में ज्वाइंट अकाउंट नहीं खोला जा सकता है.
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PPF के फायदे?
PPF में हर साल कम से कम 500 रुपये का निवेश करना पड़ता है और इसमें आप प्रत्येक वित्त वर्ष में 1.50 लाख रुपये तक निवेश कर सकते हैं. PPF में, इनकम टैक्स ऐक्ट के सेक्शन 80C के तहत लागू होने लायक लिमिट के आधार पर टैक्स बेनिफिट मिलता है. सबसे अच्छी बात यह है कि इन्वेस्टमेंट अमाउंट, इंटरेस्ट, और मैच्योरिटी अमाउंट सब पर इनकम टैक्स माफ है.
फॉर्म में बदलाव-
>> खाता खोलने का फॉर्म- फॉर्म A से फॉर्म 1
>> योगदान फॉर्म- पहले वाला फॉर्म B
>> आंशिक निकासी- फॉर्म C से फॉर्म 2
>> मैच्योरिटी के बाद खाता बंद होना- फॉर्म C से फॉर्म 3
>> PPF लोन- फॉर्म D से फॉर्म 2
>> एक्सटेंशन फॉर्म- फॉर्म H से फॉर्म 4
>> समय से पहले समापन- N/A से फॉर्म 5
>> नॉमिनेशन- फॉर्म E से फॉर्म 1
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FIRST PUBLISHED : December 19, 2019, 06:05 IST