होम /न्यूज /व्यवसाय /RBI Monetary Policy 2022: वित्त वर्ष 2022-23 में 7.2% की विकास दर से बढ़ेगा देश, आरबीआई का अनुमान

RBI Monetary Policy 2022: वित्त वर्ष 2022-23 में 7.2% की विकास दर से बढ़ेगा देश, आरबीआई का अनुमान

RBI ने ग्रोथ अनुमान में कोई परिवर्तन न करते हुए इसके 7.2 फीसदी रहने की संभावना जताई है.

RBI ने ग्रोथ अनुमान में कोई परिवर्तन न करते हुए इसके 7.2 फीसदी रहने की संभावना जताई है.

RBI MPC Meeting Announcements: रिजर्व बैंक ऑफ इंडिया (RBI) के गवर्नर शक्तिकांत दास ने भारतीय जीपीडी की ग्रोथ को लेकर के ...अधिक पढ़ें

हाइलाइट्स

रिजर्व बैंक ऑफ इंडिया (RBI) ने रेपो रेट में 0.50 फीसदी की बढ़ोतरी की है.
RBI ने ग्रोथ अनुमान में कोई परिवर्तन नहीं किया. यह FY23 के लिए 7.2 फीसदी ही रहेगी.
अप्रैल-जून के बीच GDP की ग्रोथ 16.2 फीसदी रहने का अनुमान है.

नई दिल्ली. रिजर्व बैंक ऑफ इंडिया (RBI) ने रेपो रेट में लगातार तीसरी बार बढ़ोतरी कर दी है. आरबीआई गवर्नर शक्तिकांत दास (Shaktikanta Das) ने शुक्रवार को मौद्रिक नीति समिति की बैठक के नतीजे घोषित (RBI MPC Meeting Announcements) किए. उन्होंने कहा कि रेपो रेट में 0.50 फीसदी की बढ़ोतरी की गई है. इस बढ़ोतरी के बाद प्रभावी रेपो रेट बढ़कर 5.40 फीसदी हो गया है. इस दौरान उन्‍होंने भारतीय जीपीडी के ग्रोथ (GDP Growth) को लेकर आरबीआई के अनुमान के बारे में भी बताया.

गवर्नर शक्तिकांत दास ने कहा कि केंद्रीय बैंक ने ग्रोथ अनुमान में कोई परिवर्तन नहीं किया है. यह वित्त वर्ष 2022-23 के लिए 7.2 फीसदी ही रहेगी. इससे पहले समझा जा रहा था महंगाई (Inflation) और वैश्विक बाजारों के दबाव के चलते विकास दर के अनुमान में कुछ बदलाव किया जा सकता है. लेकिन, गवर्नर दास ने मौद्रिक नीतियों और देश के आर्थिक सुधारों पर भरोसा कायम रखते हुए विकास दर अनुमान को पहले की ही तरह स्थिर रखा है.

ये भी पढ़ें – RBI द्वारा Repo Rate बढ़ाने का क्या होगा असर? समझिए 

इस दौरान उन्होंने कहा कि कई संकटों से उबरने के बाद भारत का विकास अब तेज गति से बढ़ेगा. एक रिपोर्ट के मुताबिक, अप्रैल-जून 2022 के बीच जीडीपी की ग्रोथ 16.2 फीसदी रह सकती है. जुलाई से सितंबर तक की तिमाही में यह 6.2 फीसदी की दर पर रहने की संभावना है. अक्टूबर से दिसंबर 2022 तिमाही में 4.1 फीसदी और जनवरी से मार्च 2023 वाली तिमाही में 4.0 फीसदी रहने की संभावना है.

IMF ने घटाया था अपना अनुमान
अंतरराष्ट्रीय मुद्रा कोष (IMF) ने जुलाई 2022 के अंत में चालू वित्त वर्ष के लिए भारत के सकल घरेलू उत्पाद (GDP) के विकास के अनुमान को 80 आधार अंकों से घटाकर 7.4 प्रतिशत कर दिया था. आईएमएफ ने 26 जुलाई को अपनी वर्ल्ड इकोनॉमिक आउटलुक रिपोर्ट के अपडेट में कहा था, “भारत के लिए यह संशोधन मुख्य रूप से कम अनुकूल बाहरी परिस्थितियों और अधिक तेजी से हो रही नीतिगत सख्ती (Rapid policy tightening) को दर्शाता है.”

FICCI ने कहा था 7 फीसदी रह सकती है ग्रोथ रेट
इंडस्ट्री चैंबर फिक्की (FICCI) ने उससे पहले भारत के जीडीपी ग्रोथ रेट अनुमान में कटौती की थी. फिक्की ने चालू वित्त वर्ष (FY23) के लिए भारत की आर्थिक वृद्धि के अनुमान को 7.4 फीसदी से घटाकर 7 फीसदी कर दिया है. जियो-पॉलिटिकल अनिश्चितताओं की वजह से फिक्की ने ग्रोथ रेट के अनुमान में कमी की थी.

Tags: Bank rates, GDP, GDP growth, India GDP, RBI, RBI Governor, Rbi policy, Shaktikanta Das

टॉप स्टोरीज
अधिक पढ़ें