नई दिल्ली. भारतीय शेयर बाजार (Stock Market) गहरे संकट में फंस गया है और रूस-यूक्रेन युद्ध (Russia-Ukraine War) जैसे-जैसे आगे बढ़ रहा, निवेशकों का भरोसा कम होता जा रहा है.
एक्सपर्ट का कहना है कि लगातार दबाव में चल रहे शेयर बाजार के आज भी उबरने की संभावना कम है. ग्लोबल फैक्टर के दबाव में घरेलू निवेशकों पर भी बिकवाली हावी रहेगी और दोनों ही एक्सचेंज पर एक बार फिर गिरावट के साथ ट्रेडिंग की शुरुआत हो सकती है. इससे पहले शुक्रवार को सेंसेक्स 769 अंक टूटकर 54,334 बंद हुआ था, जबकि निफ्टी 253 अंकों के नुकसान के साथ 16,245 पर Nasdaqपहुंच गया था.
अमेरिकी और यूरोपीय बाजारों में तबाही
यूरोप के मुहाने पर लड़े जा रहे युद्ध की तपिश वहां के सभी प्रमुख शेयर बाजारों पर साफ देखी जा सकती है. क्रूड की सप्लाई पर असर पड़ने से दुनियाभर में ऊर्जा संकट की स्थिति बन रही और अमेरिका के प्रमुख स्टॉक एक्सचेंज Nasdaq पर 1.66 फीसदी गिरावट दिखी. यूरोपीय बाजारों में जर्मनी के एक्सचेंज पर 4.41 फीसदी तो फ्रांस के स्टॉक एक्सचेंज पर 4.97 फीसदी का बड़ा नुकसान दिखा है. लंदन स्टॉक एक्सचेंज पर भी 3.48 फीसदी के नुकसान पर बंद हुआ.
एशियाई बाजारों में लाल निशान पर ट्रेडिंग
एशिया के सभी प्रमुख शेयर बाजारों में सोमवार को ट्रेडिंग की शुरुआत गिरावट के साथ हुई. सिंगापुर स्टॉक एक्सचेंज 2.06 फीसदी और जापान का निक्केई 2.90 फीसदी की बड़ी गिरावट पर कारोबार कर रहे थे. इसके अलावा दक्षिण कोरिया का एक्सचेंज भी 1.80 फीसदी की गिरावट पर था. एशियाई बाजारों की कमजोरी का असर भारत के एक्सचेंजों पर भी दिखेगा.
विदेशी निवेशकों का घटता विश्वास
विदेशी संस्थागत निवेशकों (FII) का भारतीय पूंजी बाजार में भरोसा लगातार घटता जा रहा है. शुक्रवार को खत्म हुई ट्रेडिंग के दौरान विदेशी निवेशकों ने बाजार से 7,631.02 करोड़ रुपये के शेयर निकाल लिए. हालांकि, घरेलू निवेशकों की 4,738.99 करोड़ की खरीदारी से बाजार को थोड़ा सपोर्ट मिला, लेकिन बड़ी गिरावट से नहीं बच सका.
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