'किसानों को फसल बीमा की राशि सही तरीके से नहीं मिल पा रही है'

'किसानों को फसल बीमा की राशि सही तरीके से नहीं मिल पा रही है'
छत्तीसगढ़ के रायगढ़ जिले में बीते वर्ष जिले के 75 हजार किसानों ने लाखों रुपए खर्च कर फसल का बीमा कराया था.
- ETV MP/Chhattisgarh
- Last Updated: June 28, 2017, 10:21 AM IST
छत्तीसगढ़ के रायगढ़ जिले में बीते वर्ष जिले के 75 हजार किसानों ने लाखों रुपए खर्च कर फसल का बीमा कराया था. लेकिन जिले के 46 किसानों को महज 2 लाख 73 हजार का क्लेम मिला है.
अब किसान नेता सरकार की फसल बीमा योजना पर सवालियां निशान लगाते हुए सरकार और प्रशासन पर बीमा कंपनियों को लाभ पहुंचाने का आरोप लगाया है.
इसमें 7 करोड़ से ज्यादा की प्रीमियम राशि तय की गई थी. विभागीय अधिकारी का कहना है कि फसल बीमा अब वर्षा या प्राकृतिक आपदा के वक्त किसानों के लिए सहारा होता है. जिले में 75 हजार किसानों ने अगर फसल बीमा कराया है तो, यह जागरूकता का प्रतिक है.
इस बारे में किसान नेता मनोरंजन नायक ने कहा कि रायगढ़ जिले में 75 हजार किसानों ने अपना फसल बीमा कराया था. इसमें सिर्फ 48 किसानों को ही फसल बीमा का लाभ मिला है.उन्होंने कहा कि कृषि को किसी भी तरह से संबंधित अधिकारी सही तरीके से जानकारी नहीं दे पा रहे हैं. हालांकि इसमें कुछ तो सोसायटी के माध्यम से फसल बीमा होता है, साथ ही कुछ बीमा संबंधित अधिकारी अपने हिसाब से करवाते हैं.
इस कारण किसानों को किसी तरह का लाभ नहीं मिल पा रहा है. उन्होंने कहा कि बीमा कंपनियां अपने हिसाब से किसानों से फसल बीमा करवा रहे हैं, लेकिन किसानों को अपनी फसलों की बीमा की ही राशि सही तरीके से नहीं मिल पा रही है.
वहीं उप संचालक कृषि एम. आर भगत का कहना है कि किसानों के हित में बनाई गई केंद्र सरकार की बीमा योजना हितकारी है. उन्होंने कहा कि अगर सूखे की स्थिति उत्पन्न होती, तो निश्चित तौर पर किसानों को फसल बीमा का लाभ मिलता. उन्होंने कहा कि इसमें शासन ने कई मापदंड तय किए हैं, जिसके अनुसार ही किसानों का बीमा का लाभ मिलेगा.
अब किसान नेता सरकार की फसल बीमा योजना पर सवालियां निशान लगाते हुए सरकार और प्रशासन पर बीमा कंपनियों को लाभ पहुंचाने का आरोप लगाया है.
इसमें 7 करोड़ से ज्यादा की प्रीमियम राशि तय की गई थी. विभागीय अधिकारी का कहना है कि फसल बीमा अब वर्षा या प्राकृतिक आपदा के वक्त किसानों के लिए सहारा होता है. जिले में 75 हजार किसानों ने अगर फसल बीमा कराया है तो, यह जागरूकता का प्रतिक है.
इस कारण किसानों को किसी तरह का लाभ नहीं मिल पा रहा है. उन्होंने कहा कि बीमा कंपनियां अपने हिसाब से किसानों से फसल बीमा करवा रहे हैं, लेकिन किसानों को अपनी फसलों की बीमा की ही राशि सही तरीके से नहीं मिल पा रही है.
वहीं उप संचालक कृषि एम. आर भगत का कहना है कि किसानों के हित में बनाई गई केंद्र सरकार की बीमा योजना हितकारी है. उन्होंने कहा कि अगर सूखे की स्थिति उत्पन्न होती, तो निश्चित तौर पर किसानों को फसल बीमा का लाभ मिलता. उन्होंने कहा कि इसमें शासन ने कई मापदंड तय किए हैं, जिसके अनुसार ही किसानों का बीमा का लाभ मिलेगा.