छत्तीसगढ़ (Chhattisgarh) के महाविद्यालयों (Colleges) में इस बार छात्र संघ का चुनाव (Student union elections) नहीं होगा. सूबे के उच्च शिक्षामंत्री उमेश पटेल ( Minister Umesh Patel) ने इसका एलान कर दिया है. जानकारी के मुताबिक, कुछ दिनों में सूबे में चुनाव होने है. इस वजह से छात्र संघ चुनाव पर ब्रेक लगा दी गई है. बताया जा रहा है कि अब अगले साल स्टूडेंट यूनियन इलेक्शन कराए जाएंगे. इस बार रिप्रेजेंटेटिव (Representatives) चुनने के लिए एक नया तरीका भी अपनाया जाएगा. मार्क्स के हिसाब से प्रतिनिधियों का चुनाव इस बार होगा. जानकारी के मुताबिक लोकसभा (Loksabha), विधानसभा चुनाव (Assembly election) और अब होने वाले नगरीय निकाय चुनाव (Urban body elections) की वजह से इस वर्ष छात्र संघ का चुनाव नहीं कराने का फैसला लिया गया है.
के बीच काफी क्रेज रहता है, लेकिन सरकार के इस फैसले के बाद बच्चों को मायूसी हाथ लगी है. चुनाव नहीं कराने के फैसले के बाद छात्र संघ चुनाव की तैयारी में जुटे छात्रों में निराशा है. बताया जा रहा है कि इस बार महाविद्यालयों में रिप्रेजेंटेटिव एक नए तरीके से चुना जाएगा. अब मनोनय के आधार पर क्लास के रिप्रेजेंटेटिव का चुनाव किया जाएगा. मेरिट आधार पर मनोनयन की प्रक्रिया होगा. बता दें कि प्रदेश में करीब 500 शासकीय और निजी महाविद्यालय संचालित है जहां इस बार छात्र संघ चुनाव नहीं होगा.
नहीं कराने का फैसला लिया है. इस फैसले के बाद विपक्ष ने इस फैसले पर जमकर निशाना साधा है. इस मसले पर कांग्रेस प्रवक्ता सुशील आनंद शुक्ला का कहना है कि ये साल चुनावी वर्ष है. कुछ दिनों में दंतेवाड़ा में उपचुनाव और उसके बाद नगरीय निकाय चुनाव होना है. इस वजह से सरकार ने ये फैसला लिया है. वहीं
प्रवक्ता संजय श्रीवास्तव का कहना है कि कांग्रेस सरकार के पास विजन ही नहीं है. इस वजह से छात्र संघ चुनाव पर ब्रेक लगा दी गई है.
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FIRST PUBLISHED : September 13, 2019, 14:13 IST