AAP का दिल्ली BJP पर 'प्रहार', कहा- गाजीपुर लैंडफिल में आग लगवा कर बढ़ा रही प्रदूषण

गाजीपुर कूड़े के पहाड़ में लगी आग से उठता हुआ धुआं
आप के विधायक और प्रवक्ता सौरभ भारद्वाज (Saurabh Bhardwaj) ने प्रेस कॉन्फ्रेंस कर कहा गाजीपुर लैंडफिल साइट (Ghazipur Landfill Site) में आग लगने की घटना मामूली नहीं है, हम दिल्ली के उपराज्यपाल से मांग करते हैं कि वो इसकी उच्चस्तरीय जांच कराएं और एमसीडी कमिश्नर से जवाब मांगे कि यह आग कैसे लगी
- News18Hindi
- Last Updated: November 26, 2020, 9:08 PM IST
नई दिल्ली. आम आदमी पार्टी (AAP) के मुख्य प्रवक्ता सौरभ भारद्वाज (Saurabh Bhardwaj) ने कहा कि पड़ोसी राज्यों में पराली जलना (Stubble Burning) बंद होने से दिल्ली का प्रदूषण (Delhi Pollution) कम हुआ, तो अब दिल्ली सरकार (Delhi Government) को बदनाम करने के लिए बीजेपी ने गाजीपुर लैंडफिल साइट पर आग लगाकर प्रदूषण बढ़ा दिया. दिल्लीवासियों ने जब-जब प्रदूषण की लड़ाई लड़ी है, तब-तब बीजेपी के नेताओं ने इसका विरोध किया है. दिल्ली सरकार के ऑड-इवेन और रेड लाइट ऑन, गाड़ी ऑफ अभियान में भी बीजेपी ने सहयोग नहीं दिया. उन्होंने कहा कि अरविंद केजरीवाल सरकार और आम आदमी पार्टी दिल्ली के लोगों के साथ मिल कर प्रदूषण को कम कर रही है, लेकिन बीजेपी प्रदूषण बढ़ाकर दिल्लीवालों को परेशान कर रही है. एलजी साहब को गाजीपुर लैंडफिल साइट (Ghazipur Landfill Site) पर लगी आग की उच्चस्तरीय जांच करवानी चाहिए और एमसीडी के कमिश्नर से आग लगने का जवाब मांगना चाहिए.
भारद्वाज ने प्रदूषण को लेकर गुरुवार को पार्टी मुख्यालय में प्रेस कॉन्फ्रेंस की. उन्होंने कहा कि दिल्ली में जब-जब प्रदूषण की लड़ाई दिल्ली वालों ने लड़ी तब-तब बीजेपी के नेताओं ने उसका विरोध किया. जब सारी दिल्ली ऑड-ईवन के अंदर खुशी से दिल्ली का प्रदूषण कम करने की कोशिश कर रही थी और पूरा विश्व इसकी सराहना कर रहा था, तो बीजेपी ने अपने कार्यकर्ताओं को कहा कि आप ऑड-इवेन का पालन न करें. बीजेपी के नेता विजय गोयल तो खुद इवेन दिन में ऑड गाड़ी लेकर सड़क पर निकले और कहा कि मैं इसका विरोध करूंगा.
दिल्ली में प्रदूषण कम करने के प्रयास को बीजेपी नाकाम करने में जुटी
आप के प्रवक्ता ने आगे कहा कि जब दिल्ली के अंदर ‘रेड लाइट ऑन, गाड़ी ऑफ’ की मुहिम चल रही है, तो बीजेपी के नेता विजय गोयल ने कहा कि हम इसका पालन नहीं करेंगे. उन्होंने इसका खुलकर विरोध किया. जब सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि दिल्ली के लोग पटाखे न जलाएं, बल्कि दिए जलाएं तब बीजेपी के नेताओं ने इसका विरोध किया. बीजेपी नेताओं ने मुफ्त में पटाखे बांटे और अपने कार्यकर्ताओं से कहा कि खूब पटाखे जलाएं, ताकि दिल्ली का प्रदूषण बढ़ जाए. पिछले तीन वर्षों से हम देख रहे हैं कि जब-जब प्रदूषण की मार दिल्ली पर पड़ती है, तब-तब नगर निगम के कर्मचारियों द्वारा कूड़े को जलाया जाता है ताकि दिल्ली में प्रदूषण बढ़ सके.
सौरभ भारद्वाज ने आगे कहा कि बुधवार को गाजीपुर में कूड़े के पहाड़ में आग लगने की घटना हुई थी, जिसका पर्दाफाश हमारे विधायक कुलदीप कुमार ने किया. गाजीपुर में जो कूड़े का पहाड़ है, जिस पर पूर्वी दिल्ली के बीजेपी सांसद गौतम गंभीर शोध कर रहे हैं, वहां बीजेपी के नेताओं ने पूरी लैंडफिल साइट पर आग लगा रखी है. पूरे कूड़े के पहाड़ में आग लगना, यह स्वाभाविक ही नहीं, वैज्ञानिक तौर पर भी यह मुमकिन नहीं है कि पहले यह आग पूरे पहाड़ पर कहीं-कहीं दिखती थी, लेकिन अब पूरे पहाड़ में आग लगा दी गई. बीजेपी नेता जानते हैं कि अब पराली जलनी बंद हो गई है और धीरे-धीरे दिल्ली का प्रदूषण कम हो रहा है इसीलिए दिल्ली को बदनाम करने के लिए दो तरीके से बीजेपी काम कर रही है. एक तो अपने कार्यकर्ताओं को बीजेपी नेता कह रहे हैं कि पराली को गलाओ मत, बल्कि उसमें आग लगा दो और दिल्ली को बदनाम करो. दूसरा, गाजीपुर में कूड़े के पहाड़ में बीजेपी नेताओं ने आग लगवा दी.
उन्होंने कहा कि हम चाहते हैं कि इसकी उच्चस्तरीय जांच होनी चाहिए. नगर निगम के कमिश्नर बताएं कि आग कैसे लगी. लैंडफिल साइट कोई मामूली जगह नहीं है, वहां पर हर वक्त एमसीडी के अधिकारी मौजूद रहते हैं, चौबीस घंटे कूड़े के ट्रक वहां पर आते-जाते रहते हैं. ऐसे कैसे हो सकता है कि इतनी बड़ी आग लग जाए और पता न चले. हम एलजी साहब से मांग करते हैं कि वो इसकी उच्चस्तरीय जांच कराएं और कमिश्नर से जवाब मांगे कि यह आग कैसे लगी.
भारद्वाज ने प्रदूषण को लेकर गुरुवार को पार्टी मुख्यालय में प्रेस कॉन्फ्रेंस की. उन्होंने कहा कि दिल्ली में जब-जब प्रदूषण की लड़ाई दिल्ली वालों ने लड़ी तब-तब बीजेपी के नेताओं ने उसका विरोध किया. जब सारी दिल्ली ऑड-ईवन के अंदर खुशी से दिल्ली का प्रदूषण कम करने की कोशिश कर रही थी और पूरा विश्व इसकी सराहना कर रहा था, तो बीजेपी ने अपने कार्यकर्ताओं को कहा कि आप ऑड-इवेन का पालन न करें. बीजेपी के नेता विजय गोयल तो खुद इवेन दिन में ऑड गाड़ी लेकर सड़क पर निकले और कहा कि मैं इसका विरोध करूंगा.
भाजपा नेता ऑड-इवन और रेड लाइट ऑन, गाड़ी ऑफ कैंपेन का विरोध करते हैं, भाजपा अपने कार्यकर्त्ताओं को पराली गलाने की जगह जलाने के लिए कहती है।
दिल्ली की हवा को ख़राब करने के लिए लैंडफिल्ड साईट पर आग लगवाई गयी। इसकी उच्च स्तरीय जाँच होनी चाहिए।- राष्ट्रीय प्रवक्ता @Saurabh_MLAgk जी pic.twitter.com/42xwzLdRlV— AAP (@AamAadmiParty) November 26, 2020
दिल्ली में प्रदूषण कम करने के प्रयास को बीजेपी नाकाम करने में जुटी
आप के प्रवक्ता ने आगे कहा कि जब दिल्ली के अंदर ‘रेड लाइट ऑन, गाड़ी ऑफ’ की मुहिम चल रही है, तो बीजेपी के नेता विजय गोयल ने कहा कि हम इसका पालन नहीं करेंगे. उन्होंने इसका खुलकर विरोध किया. जब सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि दिल्ली के लोग पटाखे न जलाएं, बल्कि दिए जलाएं तब बीजेपी के नेताओं ने इसका विरोध किया. बीजेपी नेताओं ने मुफ्त में पटाखे बांटे और अपने कार्यकर्ताओं से कहा कि खूब पटाखे जलाएं, ताकि दिल्ली का प्रदूषण बढ़ जाए. पिछले तीन वर्षों से हम देख रहे हैं कि जब-जब प्रदूषण की मार दिल्ली पर पड़ती है, तब-तब नगर निगम के कर्मचारियों द्वारा कूड़े को जलाया जाता है ताकि दिल्ली में प्रदूषण बढ़ सके.
सौरभ भारद्वाज ने आगे कहा कि बुधवार को गाजीपुर में कूड़े के पहाड़ में आग लगने की घटना हुई थी, जिसका पर्दाफाश हमारे विधायक कुलदीप कुमार ने किया. गाजीपुर में जो कूड़े का पहाड़ है, जिस पर पूर्वी दिल्ली के बीजेपी सांसद गौतम गंभीर शोध कर रहे हैं, वहां बीजेपी के नेताओं ने पूरी लैंडफिल साइट पर आग लगा रखी है. पूरे कूड़े के पहाड़ में आग लगना, यह स्वाभाविक ही नहीं, वैज्ञानिक तौर पर भी यह मुमकिन नहीं है कि पहले यह आग पूरे पहाड़ पर कहीं-कहीं दिखती थी, लेकिन अब पूरे पहाड़ में आग लगा दी गई. बीजेपी नेता जानते हैं कि अब पराली जलनी बंद हो गई है और धीरे-धीरे दिल्ली का प्रदूषण कम हो रहा है इसीलिए दिल्ली को बदनाम करने के लिए दो तरीके से बीजेपी काम कर रही है. एक तो अपने कार्यकर्ताओं को बीजेपी नेता कह रहे हैं कि पराली को गलाओ मत, बल्कि उसमें आग लगा दो और दिल्ली को बदनाम करो. दूसरा, गाजीपुर में कूड़े के पहाड़ में बीजेपी नेताओं ने आग लगवा दी.
उन्होंने कहा कि हम चाहते हैं कि इसकी उच्चस्तरीय जांच होनी चाहिए. नगर निगम के कमिश्नर बताएं कि आग कैसे लगी. लैंडफिल साइट कोई मामूली जगह नहीं है, वहां पर हर वक्त एमसीडी के अधिकारी मौजूद रहते हैं, चौबीस घंटे कूड़े के ट्रक वहां पर आते-जाते रहते हैं. ऐसे कैसे हो सकता है कि इतनी बड़ी आग लग जाए और पता न चले. हम एलजी साहब से मांग करते हैं कि वो इसकी उच्चस्तरीय जांच कराएं और कमिश्नर से जवाब मांगे कि यह आग कैसे लगी.