नई दिल्ली. वेस्ट दिल्ली के द्वारका में सेक्टर-9 में स्थित इंदिरा गांधी अस्पताल (Indira Gandhi Hospital) को मेडिकल कॉलेज (Medical College) बनाने की तैयारी की जा रही है. दिल्ली सरकार (Delhi Government) की ओर से सेक्टर-17 में मेडिकल कॉलेज बनाया जाएगा.
इस अस्पताल को मेडिकल कॉलेज बनाए जाने से स्वास्थ्य सेवा और स्वास्थ्य शिक्षा के क्षेत्र में दिल्ली को बड़ा लाभ मिल सकेगा. इस मेडिकल कॉलेज को 2025 तक बनाकर तैयार किया जाएगा. आम लोगों को इलाज की बेहतर सुविधा मिलने के साथ ही युवाओं को रोजगार भी मिलेगा. शुरूआती दौर में यहां छात्रों को एमबीबीएस (MBBS) पाठ्यक्रम ऑफर किए जाएंगे. इसके बाद एमडी, एमएस, डीएम आदि की मेडिकल डिग्री दी जाएगी.
द्वारका स्थित इंदिरा गांधी अस्पताल, दिल्ली सरकार का अस्पताल है. इस सरकारी अस्पताल में प्राइवेट मल्टीस्पेशलिटी अस्पताल की तरह ही सुविधाएं उपलब्ध है. दिल्ली के स्वास्थ्य मंत्री सत्येंद्र जैन का कहना है कि पिछले सात सालों में दिल्ली के हेल्थ इंफ्रास्ट्रक्चर में बड़ा बदलाव आया है. केवल मेडिकल क्षेत्र में इंफ्रास्ट्रक्चर डेवल्प नहीं हो रहा, बल्कि नए डॉक्टर भी तैयार हो रहे हैं और बेड्स की संख्या भी बढ़ी है. इंदिरा गांधी अस्पताल में मेडिकल कॉलेज बनने के बाद दिल्ली डॉक्टरों की नई फ़ौज तैयार करने में सक्षम होगा.
डॉक्टर बनने का सपना देख रहे युवाओं को रोजगार के अवसर मिलेंगे.साथ ही ऐसे छात्रों को सरकारी मेडिकल कॉलेज में दाखिले का अवसर मिलेगा, जो मेधावी तो थे लेकिन गरीबी के कारण भारी भरकम फीस वाले ‘डोनेशन की वसूली’ में लिप्त प्राइवेट मेडिकल कॉलेजों में दाखिला लेने में असर्मथ थे. उन्होंने बताया कि दिल्ली सरकार की ओर से लगातार स्वास्थ्य सुविधाओं और स्वास्थ्य शिक्षा को बढ़ावा दिया जा रहा है. इंदिरा गांधी सुपर स्पेशियलिटी अस्पताल में स्टूडेंट्स की पढ़ाई के साथ शोध पर विशेष ध्यान दिया जाएगा, ताकि यह मेडिकल कॉलेज शोध और मौलिकता का पॉवर हाउस बनकर उभरे.
अस्पताल के निदेशक डॉ. बीएल चौधरी ने बताया कि देश को अच्छे डाक्टरों की जरूरत है और उसी दिशा में द्वारका सेक्टर-17 में आधुनिक तकनीक व स्वास्थ्य सेवाओं पर आधारित मेडिकल स्कूल खोलने का निर्णय लिया गया. इससे मेधावी छात्रों और समग्र रूप से समाज को लाभ मिलेगा.
उन्होंने बताया कि युवाओं को मेडिकल की पढ़ाई के लिए विदेशों में नहीं जाना पड़ेगा. मेडिकल कॉलेज में चिकित्सा एवं स्वास्थ्य विज्ञान में विविध पाठ्यक्रमों की शुरूआत पर विचार किया जा रहा है. प्रवेश राष्ट्रीय परीक्षण एजेंसी यानी नीट के माध्यम से किया जाएगा. यहां पहले सत्र में 125 सीट्स पर दाखिलें होंगे. इनमें दाखिले की प्रक्रिया पूरी तरह पारदर्शी रहेगी. कॉलेज में फैक्ल्टी भी उच्च स्तरीय होगी.
600 बेड वाला मातृ एवं शिशु कल्याण अस्पताल भी बनेगा
दिल्ली सरकार द्वारा बनाए गए इंदिरा गांधी अस्पताल परिसर का एक हिस्सा खाली रखा गया है, जिस पर भविष्य में मातृ एवं शिशु कल्याण अस्पताल बनेगा. यहां प्रसव के बाद शिशु की बेहतर देखभाल की जाएगी. करीब 600 बेड का यह अस्पताल सभी सुविधाओं से लैस रहेगा. इसमें मां और नवजात से जुड़ी सारी सुविधाएं उपलब्ध रहेंगी. इसके लिए विशेष स्तर पर कार्य को लेकर तैयारी शुरू की जा रही है.
अस्पताल में मरीजों को मिल रही है इमरजेंसी सेवाएं
बताते चलें कि वर्तमान में इंदिरा गांधी अस्पताल में मेडिसीन, बाल चिकित्सा, नेत्र विज्ञान, ईएनटी, त्वचा विज्ञान, शल्य चिकित्सा व भौतिक चिकित्सा सहित महिला रोग विशेषज्ञ ओपीडी चालू है. हाल ही में अस्पताल ने यहां इमरजेंसी सेवा भी शुरू की है. यहां कई स्तर पर स्टाफ की नियुक्ति भी जारी है. ओपीडी में रजिस्ट्रेशन का समय सुबह 8 बजे से 11:30 बजे तक का है. कोरोना की पिछली लहर के दौरान दिल्ली सरकार ने इस अस्पताल की सेवाएं कोरोना मरीजों के लिए चालू कर दिया था.
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