हिंदू धर्म में ऐसी बहुत सी मान्यताएं और परंपराएं हैं जो कई सदियों से चली आ रही हैं और लोग आज भी इन मान्यताओं को मानते और इसका अनुसरण करते हैं. हिंदू धर्म में सप्ताह के प्रत्येक दिन का अपना एक विशेष महत्व होता है. इन दिनों का हमारी जीवन शैली पर और आने वाले भविष्य पर गहरा प्रभाव भी पड़ता है. इसलिए अक्सर आपने अपने घर के बड़े बुजुर्गों से दिन और उस दिन न करने वाले कामों के बारे में बोलते सुना होगा. इन्हीं सब कामों में एक है नाखून काटना. आपने अपने घर के बड़ों को यह कहते सुना होगा कि मंगलवार, गुरुवार और शनिवार के दिन नाखून नहीं काटने चाहिए.
इस विषय में हमें भोपाल के रहने वाले ज्योतिष पंडित हितेंद्र कुमार शर्मा बता रहे हैं कि आखिर क्यों मना करते हैं हमें घर के बड़े बुजुर्ग नाखून काटने से.
-सिर्फ मान्यताएं नहीं वैज्ञानिक कारण भी है
मंगलवार, गुरुवार और शनिवार के दिन नाखून ना काटने को लेकर सिर्फ मान्यताएं नहीं बल्कि वैज्ञानिक कारण भी हैं. विज्ञान की मानें तो मनुष्य की उंगलियों में नाखून के हिस्से का भाग बहुत नाजुक होता है नाखून इस नाजुक हिस्से की सुरक्षा करते हैं. वैज्ञानिकों के अनुसार मंगलवार, शनिवार और गुरुवार के दिन ब्रह्मांड से कई तरह की ऊर्जा पृथ्वी पर आती है. ऐसे में अगर ये ऊर्जा इंसान शरीर के नाजुक हिस्से पर पड़ेगी तो इसके कई नकारात्मक परिणाम देखने को मिल सकते हैं. इसलिए विज्ञान भी गुरुवार, मंगलवार और शनिवार को नाखून ना काटने की सलाह देता है.
-ज्योतिष शास्त्र में ग्रहों से संबंध
ज्योतिष शास्त्र के अनुसार गुरुवार का दिन-देवताओं के गुरु बृहस्पति का दिन होता है. ऐसा माना जाता है कि गुरुवार के दिन नाखून काटने से गुरु ग्रह कमजोर होता है और ऐसे व्यक्ति के जीवन में सुख-शांति की कमी होने लगती है. इसके अलावा बृहस्पति को बुद्धि का स्वामी भी माना गया है. तो ऐसे में यदि बृहस्पतिवार के दिन नाखून या बाल काटे जाएं तो इंसान की बुद्धि भी कमजोर होती है.
इसके अलावा यह भी माना जाता है कि मंगलवार मंगल देवता का दिन होता है और मंगल का संबंध मनुष्य के खून से माना जाता है. ऐसे में यदि मंगलवार के दिन नाखून काटे जाएं तो इससे व्यक्ति का आत्मविश्वास कमजोर होता है. शनिवार का दिन शनि देव को समर्पित किया जाता है. शनिवार के दिन नाखून काटने से शनि देव नाराज होते हैं. शनिवार के दिन नाखून काटने वाले व्यक्ति की आयु भी कम होने लगती है साथ ही ऐसे व्यक्तियों को आर्थिक संकटों का सामना भी करना पड़ सकता है.
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