#MeToo: आलोक नाथ के खिलाफ मुंबई पुलिस ने दर्ज किया रेप का मामला

आलोकनाथ (फाइल फोटो)
मुंबई पुलिस ने टीवी अभिनेता आलोक नाथ के खिलाफ बलात्कार का मामला दर्ज कर लिया है. ओशिवारा पुलसि स्टेशन पर यह मामला दर्ज किया गया है
- News18Hindi
- Last Updated: November 22, 2018, 9:48 AM IST
अभिनेता आलोक नाथ के लिए मुश्किलें बढ़ी हैं क्योंकि मुंबई पुलिस ने उनके खिलाफ बलात्कार का मामला दर्ज कर लिया है. ओशिवारा पुलिस स्टेशन में यह मामला दर्ज किया गया है. मीटू मूवमेंट के तहत टेलीविजन लेखिका विनता नंदा ने बीते दिनों एक्टर आलोक नाथ पर यौन उत्पीड़न का आरोप लगाया था. इसके बाद कई और अभिनेत्रियों ने भी आलोक नाथ के दुर्व्यवहार की बात कही.
हालांकि आलोक नाथ ने इन आरोपों को झूठा बताया है. कुछ दिन पहले आलोक नाथ ने विनता नंदा के खिलाफ मानहानि का केस दर्ज कराया था. उनकी पत्नी ने 12 अक्टूबर को अम्बोली पुलिस स्टेशन में एक खत लिखा था. आलोक नाथ ने निचली अदालत से भी गुजारिश की थी कि वो उनके खिलाफ किए गए मानहानि मामले पर संज्ञान लें और इसकी जांच करवाएं.
मी टू के दौरान आरोपित हुए लोगों के खिलाफ एफआईआर दर्ज करने की मांग वाली याचिका खारिज
'मी टू' मुहिम के दौरान जिन लोगों पर यौन दुर्व्यवहार के आरोप लगे थे उनके खिलाफ प्राथमिक दर्ज करने और उन पर मुकदमा चलाने की मांग करने वाली दो याचिकाएं सुप्रीम कोर्ट में बीते सोमवार को खारिज हो गईं. कोर्ट ने साफ किया कि जब पीड़िता खुद अदालत का रूख करेगी तभी मामले पर विचार किया जाएगा.
चीफ जस्टिस रंजन गोगोई, जस्टिस एस के कौल और जस्टिस के एम जोसेफ की पीठ ने वकील एमएल शर्मा और महेश कुमार तिवारी की ओर से दायर दो अलग-अलग पीआईएल को खारिज कर दिया.
इन वकीलों ने यौन दुर्व्यवहार और महिलाओं पर हमले को लेकर जनहित याचिकाएं लगाई थीं. ये महिलाएं अब सामने आई हैं और आरोपियों का नाम लिया है.
बेंच ने शर्मा से पूछा कि इस मामले में आपकी क्या हैसियत है और कहा कि अगर कोई पीड़िता अपनी शिकायत लेकर अदालत आती तो समझा जा सकता है. अदालत ने कहा कि वह जनहित याचिका पर विचार नहीं कर सकती है.
यह भी पढ़ें: अगर ऑफिस में कोई छेड़े तो क्या करें औरतें?
हालांकि आलोक नाथ ने इन आरोपों को झूठा बताया है. कुछ दिन पहले आलोक नाथ ने विनता नंदा के खिलाफ मानहानि का केस दर्ज कराया था. उनकी पत्नी ने 12 अक्टूबर को अम्बोली पुलिस स्टेशन में एक खत लिखा था. आलोक नाथ ने निचली अदालत से भी गुजारिश की थी कि वो उनके खिलाफ किए गए मानहानि मामले पर संज्ञान लें और इसकी जांच करवाएं.
मी टू के दौरान आरोपित हुए लोगों के खिलाफ एफआईआर दर्ज करने की मांग वाली याचिका खारिज
'मी टू' मुहिम के दौरान जिन लोगों पर यौन दुर्व्यवहार के आरोप लगे थे उनके खिलाफ प्राथमिक दर्ज करने और उन पर मुकदमा चलाने की मांग करने वाली दो याचिकाएं सुप्रीम कोर्ट में बीते सोमवार को खारिज हो गईं. कोर्ट ने साफ किया कि जब पीड़िता खुद अदालत का रूख करेगी तभी मामले पर विचार किया जाएगा.
Mumbai Police Additional CP Manoj Sharma says 'Oshiwara Police has registered an FIR against Alok Nath under section 376 of IPC (rape) on the complaint filed by Writer Vinta Nanda.' pic.twitter.com/m7A99o61Xt
— ANI (@ANI) November 21, 2018
चीफ जस्टिस रंजन गोगोई, जस्टिस एस के कौल और जस्टिस के एम जोसेफ की पीठ ने वकील एमएल शर्मा और महेश कुमार तिवारी की ओर से दायर दो अलग-अलग पीआईएल को खारिज कर दिया.
इन वकीलों ने यौन दुर्व्यवहार और महिलाओं पर हमले को लेकर जनहित याचिकाएं लगाई थीं. ये महिलाएं अब सामने आई हैं और आरोपियों का नाम लिया है.
बेंच ने शर्मा से पूछा कि इस मामले में आपकी क्या हैसियत है और कहा कि अगर कोई पीड़िता अपनी शिकायत लेकर अदालत आती तो समझा जा सकता है. अदालत ने कहा कि वह जनहित याचिका पर विचार नहीं कर सकती है.
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