बड़ी आबादी के मन के सवाल अब भी अनसुलझे हैं- सुदेश महतो

भगवान बिरसा को श्रद्धांजलि
आजसू पार्टी के सुप्रीमो सुदेश महतो ने कहा कि वर्तमान समय में भगवान बिरसा के आदर्शों को आत्मसात करने की जरूरत है, जिससे प्रदेश का विकास हो सके.
- News18 Jharkhand
- Last Updated: November 15, 2018, 4:14 PM IST
आजसू पार्टी प्रमुख सुदेश महतो ने भी रांची के कोकर में जयंती के मौके पर भगवान बिरसा मुंडा के समाधिस्थल पर श्रद्धांजलि अर्पित की. उनके साथ बिरसाइत के लोग भी पहुंचे और धरती आबा को नमन किया. ये लोग बिरसा मुंडा के आदर्शों को मानने वाले हैं.
इस मौके पर आजसू पार्टी के सुप्रीमो सुदेश महतो ने कहा कि वर्तमान समय में भगवान बिरसा के आदर्शों को आत्मसात करने की जरूरत है, जिससे प्रदेश का विकास हो सके.
उन्होंने कहा कि जिस धरती आबा को सामने रखकर झारखंड का गठन किया गया. उसके पीछे के संघर्ष और उद्देश्य को सरकार को समझने की जररूत है.
बतौर सुदेश जिन विषयों को लेकर इतनी बड़ी शक्ति एकत्रित हुई, इतना योगदान रहा, इतने वर्ष बीत जाने के बाद भी हम उन्हें स्थापित कर पाए या नहीं, इसका मूल्यांकन जरूरी है. उन्होंने कहा कि मैं ये महसूस करता हूं कि बड़ी आबादी के मन के सवाल सुलझ नहीं पाये हैं.बिरसाइत के अनुयायियों ने कहा कि उनके गावों की स्थिति वर्तमान में भी बदहाल है. मूलभूत सुविधाओं से वे अब भी वंचित हैं.
(ओमप्रकाश की रिपोर्ट)
ये भी पढ़ें- झारखंड स्थापना दिवस पर हेमंत का हमला- 2014 के बाद राज्य के पांव लड़खड़ा गये
प्रदेश से शोषण व गरीबी का खात्मा ही भगवान बिरसा को सच्ची श्रद्धांजलि- CM रघुवर
इस मौके पर आजसू पार्टी के सुप्रीमो सुदेश महतो ने कहा कि वर्तमान समय में भगवान बिरसा के आदर्शों को आत्मसात करने की जरूरत है, जिससे प्रदेश का विकास हो सके.
उन्होंने कहा कि जिस धरती आबा को सामने रखकर झारखंड का गठन किया गया. उसके पीछे के संघर्ष और उद्देश्य को सरकार को समझने की जररूत है.
बतौर सुदेश जिन विषयों को लेकर इतनी बड़ी शक्ति एकत्रित हुई, इतना योगदान रहा, इतने वर्ष बीत जाने के बाद भी हम उन्हें स्थापित कर पाए या नहीं, इसका मूल्यांकन जरूरी है. उन्होंने कहा कि मैं ये महसूस करता हूं कि बड़ी आबादी के मन के सवाल सुलझ नहीं पाये हैं.बिरसाइत के अनुयायियों ने कहा कि उनके गावों की स्थिति वर्तमान में भी बदहाल है. मूलभूत सुविधाओं से वे अब भी वंचित हैं.
(ओमप्रकाश की रिपोर्ट)
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