एमपी Assembly by elections : गोंडवाना गणतंत्र पार्टी सभी २४ सीटों पर लड़ेगी चुनाव
भोपाल. मध्य प्रदेश (madhya pradesh) के 15 जिलों की 24 विधानसभा सीट (vidhan sabha seats) पर होने वाले उपचुनाव को लेकर तीसरा मोर्चा तैयार हो रहा है. 2018 के चुनाव में बीजेपी और कांग्रेस के समीकरण बिगाड़ने वाली गोंडवाना गणतंत्र पार्टी (GGP) सभी 24 सीटों पर अपने प्रत्याशी उतारने जा रही है. वो तीसरे मोर्चे से भी संपर्क कर रही है. जीजीपी से पहले बीएसपी (BSP) भी सभी सीटों पर चुनाव लड़ने का ऐलान कर चुकी है.
भारतीय गोंडवाना गणतंत्र पार्टी के प्रदेश अध्यक्ष मनमोहन शाह बट्टी ने ऐलान किया है कि पार्टी उपचुनाव में सभी 24 सीटों पर अपने उम्मीदवार खड़ा करेगी. इसके लिए पार्टी तीसरा मोर्चा के घटक दलों से संपर्क कर रही है. गोंडवाना गणतंत्र पार्टी का सबसे ज्यादा असर महाकौशल और कुछ मालवा अंचल के इलाकों में है.लेकिन पहली बार पार्टी ग्वालियर चंबल इलाके में अपने उम्मीदवार खड़ा कर प्रमुख सियासी दलों के समीकरण को बिगाड़ने की तैयारी में जुट गई है.मनमोहन शाह बट्टी के मुताबिक जल्द ही तीसरा मोर्चा के कई नेताओं के साथ उनकी बैठक होगी. उसमें 24 विधानसभा सीटों पर होने वाले उपचुनाव में पार्टी की रणनीति का ऐलान किया जाएगा.हालांकि पार्टी ने साफ कर दिया है कि उसके प्रभाव वाले अनूपपुर,सुरखी, सांची के अलावा मालवा निमाड़ की सीटों पर पूरे दम के साथ पार्टी चुनाव लड़ेगी.
2018 के चुनाव में बिगाड़े थे समीकरण
2018 के चुनाव में दलों में बंटी गोंडवाना गणतंत्र पार्टी ने एकजुट होकर चुनाव लड़ा था और कई सीटों पर बीजेपी और कांग्रेस का समीकरण बिगाड़ दिया था. जीजीपी प्रत्याशियों ने छह लाख 75 हजार से ज्यादा वोट हासिल किए थे. अमरवाड़ा विधानसभा सीट पर तो पार्टी कांग्रेस के बाद दूसरे नंबर पर थी.
पार्टी दो फाड़
हालांकि उपचुनाव से पहले पार्टी में एक बार फिर गुटबाजी शुरू हो गई है. भारतीय गोंडवाना गणतंत्र पार्टी और गोंडवाना गणतंत्र पार्टी अपने-अपने बैनर तले 24 सीटों पर चुनाव लड़ने की रणनीति तैयार कर रहे हैं.बहर हाल 24 सीटों में तीसरे दल के नेता कितना प्रभावी होंगे यह कहना मुश्किल है. लेकिन यह जरूर है कि बसपा के बाद गोंडवाना गणतंत्र पार्टी के उम्मीदवार चुनाव मैदान में उतरते हैं तो बीजेपी और कांग्रेस का सियासी समीकरण बिगड़ना तय है.
2018 के नतीजे
2018 के विधानसभा चुनाव नतीजे पर नजर डालें तो महाकौशल इलाके में गोंडवाना फैक्टर ने बीजेपी और कांग्रेस दोनों के लिए मुश्किल खड़ी की थी. कई सीटों पर त्रिकोणीय मुकाबला हो गया था. 2018 के चुनाव में गोंडवाना गणतंत्र पार्टी ने समाजवादी पार्टी के साथ गठबंधन कर 76 सीटों पर उम्मीदवार उतारे थे. 2003 के चुनाव में जीजीपी ने 80 सीटों पर चुनाव लड़ा था और 3 सीटें जीती थीं. उसके बाद 2008 के चुनाव में दो टुकड़ों में बंटी पार्टी ने अलग-अलग सीटों पर उम्मीदवार खड़े किए थे. जिसके चलते पार्टी का वोट प्रतिशत घट गया था. लेकिन 2018 के चुनाव में जीजीपी ने एकजुट होकर चुनाव लड़ा और कई सीटों पर बीजेपी और कांग्रेस के वोट कटवा दिए.
महाकौशल के बाद ग्वालियर-चंबल
गोंडवाना गणतंत्र पार्टी का भले ही ग्वालियर चंबल इलाके की सीटों पर इसका ज्यादा असर ना हो लेकिन मालवा निमाड़ समेत रायसेन, सागर और अनूपपुर में वो अपना असर दिखा सकती है.
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Tags: BJP, BSP, Congress, Madhya Pradesh by-election
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