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भोपाल में मुखबिर तंत्र फेल, अपराधियों की धरपकड़ के लिए अब ये तरीका अपनाएगी पुलिस

Bhopal Police. भोपाल में पुलिस कमिश्नर सिस्टम लागू होने के बाद फरार वारंटियों की धरपकड़ के लिए पुलिस अब नया फॉर्मूला अपना रही है.

Bhopal Police. भोपाल में पुलिस कमिश्नर सिस्टम लागू होने के बाद फरार वारंटियों की धरपकड़ के लिए पुलिस अब नया फॉर्मूला अपना रही है.

MP Police Latest News. राजधानी में अपराधियों की धरपकड़ के लिए थानों और पूरी बीट में अपराधियों के पोस्टर लगाए जाएंगे. पु ...अधिक पढ़ें

भोपाल. राजधानी भोपाल में पुलिस का मुखबिर तंत्र फेल हो गया है. अपराधियों तक पहुंचने के लिए पुलिस अब नये तरीके अपना रही है. पुलिस कमिश्नर सिस्टम में उसने अपना इंटेलिजेंस मजबूत करने के लिए दूसरा फॉर्मूला निकाल लिया है. इस फार्मूले से फरार अपराधियों की धरपकड़ की जाएगी. थानों क्षेत्रों में अपराधियों के फोटो चस्पा किए जाएंगे. पुलिस को उम्मीद है कि उसके बाद आम जनता गुंडे बदमाशों की सूचना उसे देने लगेगी.

राजधानी में अपराधियों की धरपकड़ के लिए थानों और पूरी बीट में अपराधियों के पोस्टर लगाए जाएंगे. पुलिस ने यह कदम कई अपराधियों के वारंट तामिल नहीं होने के कारण उठाया है. फरार आरोपियों की संख्या बढ़ती जा रही है. पुलिस इसी फरारी के कारण वारंट तामील नहीं करा पाती. कोर्ट बार-बार फरार आरोपियों के खिलाफ वारंट भेजता है. गुंडे बदमाश एक नहीं बल्कि कई साल तक फरार रहते हैं. पुलिस को इसकी सूचना नहीं मिल पाती है.

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जगह जगह लगेंगे फोटो
पुलिस कमिश्नर सिस्टम में अपने मुखबिर तंत्र को मजबूत करने के लिए पुलिस नया तरीका अपना रही है. गुंडे -बदमाशों और आरोपियों की सूचना तत्काल मिले इसलिए थाने की हर एक बीट में उस इलाके के फरार वारंटी का फोटो चस्पा किया जाएगा. यह फोटो जगह-जगह लगाए जाएंगे. फोटो और पोस्टर की जिम्मेदारी बीट प्रभारी की होगी.

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जानकारी देने वाले की पहचान गुप्त रहेगी
पुलिस को उम्मीद है कि इससे बीट सिस्टम और मुखबिर तंत्र दोनों मजबूत होगा. पुलिस को उस इलाके की तमाम गोपनीय जानकारी मिलेगी. पुलिस के पास इंटेलिजेंस का इनपुट भी रहेगा. उस इलाके में अपराधियों पर नकेल कसने के साथ कानून और सुरक्षा व्यवस्था भी कंट्रोल में रहेगी. अतिरिक्त पुलिस आयुक्त सचिन अतुलकर ने बताया कि वारंटी लंबे समय से फरार हैं. उनकी सूचना कई बार नहीं मिल पाती है. पुलिस कोशिश करती है लेकिन सूचना और जानकारी के अभाव में उन फरार वारंटी तक नहीं पहुंच पाती है. अब फरार वारंटी का फोटो उस इलाके में चस्पा किया जाएगा तो जिस भी किसी को उसके बारे में कोई जानकारी होगी तो वह बीट प्रभारी या फिर पुलिस के किसी भी अधिकारी को उसकी जानकारी गोपनीय तौर पर दे सकता है. ऐसे व्यक्ति का नाम गोपनीय रखा जाएगा.

Tags: Criminal Case, Madhya pradesh latest news, Madhya pradesh Police

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