असम के मुख्यमंत्री हिमंत बिस्व सरमा. (फाइल फोटो)
गुवाहाटी. असम के मुख्यमंत्री हिमंता बिस्व सरमा (Himanta Biswa Sarma) ने कहा है कि पूर्वोत्तर राज्यों से आर्म्ड फोर्स स्पेशल पावर एक्ट (AFSPA)को हटाने को लेकर अगले 45 दिनों के अंदर कोई सकारात्मक फैसला किया जा सकता है. सरमा ने कहा कि अधिनियम के सिलसिले में पड़ोसी नगालैंड में जल्द ही ‘कुछ सकारात्मक घटनाक्रम’होंगे. इस राज्य में भी अफ्सपा लागू है. उन्होंने कहा कि उग्रवाद के कमजोर पड़ने के चलते असम के पांच-छह जिलों को छोड़ कर राज्य से सेना हटा ली गई है. सरमा ने ये भी कहा कि इस साल अफ्सपा की समीक्षा की जाएगी इसके बाद इसे हटाने को लेकर फैसला लिया जाएगा.
बता दें कि पिछले महीने केंद्र सरकार ने पूर्वोत्तर राज्यों से AFSPA हटाने को लेकर एक कमेटी बनाई है. नगालैंड में सेना के हाथों पिछले साल दिसंबर में 13 आम लोगों के मारे जाने और एक अन्य घटना में एक और व्यक्ति की मौत के बाद असम में भी AFSPA हटाने की मांग ने जोर पकड़ लिया है.
साल 2022 में कुछ अच्छा होगा
सरमा ने कहा, ‘जहां तक AFSPA की बात है, असम में 2022 में कुछ बड़े कदम उठाये जाएंगे…कैसे और कब, हम नहीं जानते. लेकिन मैं आशावादी हूं. हम 2022 को उम्मीद भरे साल के तौर पर देख रहे हैं. AFSPA के बारे में कुछ सकारात्मक कदम उठाए जाएंगे.’ नगालैंड में AFSPA जारी रहने के बारे में उन्होंने का कि केंद्र ने इस विषय की जांच के लिए 26 दिसंबर को एक समिति गठित की है. उन्होंने कहा, ‘समिति 45 दिनों में अपनी रिपोर्ट सौंपेगी और मुझे उम्मीद है कि वहां कुछ सकारात्मक घटनाक्रम होंगे.’
AFSPA को लेकर बनी है कमेटी
पिछले महीने गृहमंत्री अमित शाह के नेतृत्व में AFSPA हटाने को लेकर एक बैठक हुई थी. सरमा ने भी इस बैठक में हिस्सा लिया था. उन्होंने कहा कि इस मसले पर अमित शाह और प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का रुख काफी सकारात्मक रहा है. उन्होंने ये भी कहा कि 5-6 ज़िलों को छोड़ कर असम के सभी इलाकों से सेना हटा ली गई है. सरमा के मुताबिक उग्रवाद को लेकर असम में हालात सामान्य हो रहे हैं.
AFSPA हटाने की मांग क्यों?
पूर्वोत्तर के विभिन्न राजनीतिक दलों द्वारा AFSPA को अक्सर क्रूर अधिनियम बताया जाता रहा है. दरअसल इसके तहत सशस्त्र बलों को अशांत इलाकों में लोक व्यवस्था कायम रखने के लिए विशेष शक्तियां दी गई हैं. इसे हटाने की मांग नागरिक समाज संस्थाएं और मानवाधिकारों के पैरोकार करते रहे हैं. असम में नवंबर 1990 में AFSPA लगाया गया था और तब से इसे हर छह महीने पर राज्य सरकार द्वारा समीक्षा के बाद बढ़ाया जाता रहा है.
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Tags: AFSPA, Himanta biswa sarma
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