कोरोना के डर से लोग सड़कों पर नहीं निकलते जिससे बहुत से लोगों की रोजी रोटी पर संकट खड़ा हो गया है. . (प्रतीकात्मक तस्वीर-AP)
तिरुवनंतपुरम. कोरोना महामारी (Corona Epidemic) के प्रकोप के कारण सामान्य रूप से व्यस्त रहने वाली सड़कों के खाली होने और शहर में सन्नाटा छाने के कारण ‘स्ट्रीट सिंगर’ रोनाल्ड (Street Singer Ronald) के सामने भी बड़ी समस्या खड़ी हो गई है. रोनाल्ड वैश्विक महामारी के प्रकोप से पहले अपने चार पहिया स्कूटर पर सवार होकर बस स्टैंड से लेकर समुद्र तट तक भीड़-भाड़ वाले सभी स्थानों पर जाकर पुराने गीत गाते थे. जिससे खुश होकर लोग उन्हें जो पैसा देते थे, उससे उनके रोज के खाने-पीने का खर्चा चल जाता था बल्कि कुछ बचत भी हो जाती थी. देश में कोरोना वायरस संक्रमण फैलने के बाद से ऐसे दिव्यांग ‘स्ट्रीट सिंगर’ (सड़क पर गीत गाने वाले) के लिए जीवन बसर करना मुश्किल हो गया है. मजबूरी इतनी बढ़ गई कि पैसों के लिए उन्हें अपनी किडनी बेचने की पेशकश करनी पड़ी है.
अब उन्होंने अपने स्कूटर पर ‘लीवर और किडनी बिकाऊ हैं’ का बोर्ड लगाने के अलावा ‘मैं भूखा हूं ...कृपया मुझे दान दें’ और ‘‘मेरे अंदर के गायक ने दम तोड़ दिया है और अब मौत का इंतजार कर रहा है’ की तख्तियां भी लगा रखी हैं. रोनाल्ड (59) ने कहा कि वैश्विक महामारी से पहले वह ‘स्ट्रीट सिंगर’ थे और अब उनकी हालत भिखारी के समान है, जो कचरे में पड़ा बचा-खुचा खाना खाने से भी परहेज नहीं करता.
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उन्होंने कहा, अब सड़कों पर लोग नहीं है. एक समय पर भरी रहने वाली सड़कें अब खाली हैं. कोई सुनने वाला ही नहीं होगा, तो मेरे जैसे ‘स्ट्रीट सिंगर’ को रोज की रोटी के लिए पैसे कहां से मिलेंगे. उन्होंने कहा कि बिल्कुल पैसे ना होने के कारण उन्होंने स्कूटर पर ‘लीवर’ और किडनी बिकाऊ हैं’ का बोर्ड लगाया. रोनाल्ड ने कहा, ‘बिना भीख मांगे जीने के लिए अपने शरीर के अंगों को बेचने के अलावा और कोई रास्ता नहीं है. मैं उम्मीद करता हूं कि कोई व्यक्ति, जिसे अंग प्रतिरोपण की तत्काल आवश्यकता है, मुझसे संपर्क करेगा और मेरी किडनी और लीवर को लेकर मुझे अच्छे पैसे देगा.
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उन्होंने कहा कि उन्हें किसी मेडिकल एजेंट के बारे में नहीं पता, वह सरकारी मेडिकल कॉलेज के परिसर में चक्कर लगाते रहते हैं, ताकि कोई अंग खरीदने वाला मिल जाए. हाल में लोगों की नजर में आने के बाद उनकी तस्वीरें सोशल मीडिया पर वायरल हो गई थीं. रोनाल्ड पिछले 18 साल से सड़कों पर इसी तरह गीत गाकर और कुछ अन्य काम कर अपना खर्चा चला रहे थे. उनके परिवार में दो बेटे और एक बेटी है. पत्नी की मौत हो चुकी है. लेकिन उनके साथ अब कोई नहीं है. बच्चों ने रोनाल्ड के बनाए घर में हिस्सा मांग लिया और बेटी की शादी बहुत दूर एक गांव में हुई है. एक बेटा जेल में है और एक गंभीर रूप से बीमार रहता है. राज्य के परिवहन मंत्री एंथनी राजू और त्रिक्काक्कारा के विधायक पीटी थॉमस सोशल मीडिया के जरिए रोनाल्ड के बारे में पता चलने के बाद उनकी मदद को सामने आए हैं.
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