अपने बेटे के साथ रिगजिन चोरोल. (फोटो twitter/@37VManhas)
नई दिल्ली. शनिवार को चेन्नई में ऑफिसर्स ट्रेनिंग एकेडमी (OTA) से पास होने वाले 151 जेंटलमैन कैडेट और 35 महिला कैडेटों में एक विधवा थीं, जो लद्दाख क्षेत्र से भारतीय सेना की पहली महिला अधिकारी होंगी. रिगजिन चोरोल के पति रिगजिन खंडप लद्दाख स्काउट्स की जेडांग सुंपा बटालियन में एक राइफलमैन थे. खंडप की मौत ड्यूटी के दौरान एक दुर्घटना में हो गई थी. खंडप लद्दाख स्काउट्स में थे और आर्मी ऑफिसर बनना चाहते थे.
TOI के अनुसार रिगजिन चोरोल ने कहा कि वह घटना के बाद से ही सेना में शामिल होना चाहती थीं, क्योंकि उनके पति चाहते थे की चोरोल भी सेना में जाएं. उन्होंने कहा कि यह उनके सपने को साकार करने जैसा है. अर्थशास्त्र में ग्रेजुएट चोरोल अपने बच्चे को एक गौरवपूर्ण वातावरण प्रदान करना चाहती हैं. वह कहती हैं कि मैं अपने 11 महीने के बेटे को ट्रेनिंग को दौरान काफी याद करती थी. उन्होंने अपने बेटे को पकड़ते हुए कहा कि मुझे यकीन है कि आज मेरे पति होते तो उन्हें गर्व होता.
आर्मी में शामिल होने के उनके फैसले को जानने के बाद सेना की उत्तरी कमान के वरिष्ठ अधिकारियों ने उनसे मुलाकात की और उनका उत्साहवर्धन किया. आर्मी कोर के एक सोशल मीडिया हैंडल ने दिसंबर 2021 में चोरोल के बारे में पोस्ट किया था. पोस्ट में लिखा था कि हम रिगजिन चोरोल को बधाई देते हैं, जो लद्दाख में दृढ़ संकल्प की मिसाल बन गई हैं. वह जल्द ही ओटीए चेन्नई में शामिल होंगी और इंडियन आर्मी की पहली लद्दाखी महिला अधिकारी होंगी.
वहीं हरवीन कौर कहलों जालंधर के एक निजी स्कूल में शिक्षिका थीं, जब उनके पति कैप्टन कंवलपाल सिंह कहलों की मृत्यु हो गई. उन्होंने कहा कि मेरे पति ने सेना में शामिल होने के मेरे उत्साह को प्रोत्साहित किया था. मैं उनके सपने को साकार करना चाहती थी. अन्य कैडेटों में सुप्रीम कोर्ट के एक वकील और दो भाई-बहन थे, जिन्होंने आईटी की नौकरी छोड़ दी थी. नाइजीरिया सहित अन्य देशों से 28 महिला कैडेट और आठ पुरुष कैडेट थे.
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