केरल सरकार की नई पहल, अलग धर्म में शादी करने पर मिलेगी सुरक्षित घर की सुविधा

केरल सरकार लाई नया प्रोजेक्ट
केरल सरकार धर्म के परे जाकर विवाह करने वालों को सुरक्षा मुहैया करा रही है. सरकार की इस नई पहल का नाम "सुरक्षित घर" है.
- News18Hindi
- Last Updated: March 6, 2020, 2:44 PM IST
तिरुवंनतपुरम. केरल सरकार ने अलग धर्मों में शादी करने वालों की दिक्कतों को खत्म करते हुए एक नई पहल की है. इसके तहत सरकार धर्म के परे जाकर विवाह करने वालों को नए तरीके से सुरक्षा मुहैया करा रही है. सरकार की इस नई पहल का नाम "सुरक्षित घर" है, जिसमें एक सुरक्षित घर मुहैया करवाया जाएगा. इन घरों में दूसरे धर्म के व्यक्ति से विवाह करने वाले जोड़े एक साल तक शरण ले सकते हैं. अगर अपने प्यार को पाने के लिए आप रास्ते की बाधाओं को नहीं तोड़ पाए हैं तो अब जरूर कर सकते हैं.
जल्द ही शुरू होगा प्रोजेक्ट
स्वास्थ्य और सामाजिक न्याय मंत्री के.के. शैलजा ने इस प्रोजेक्ट को प्रस्तुत करते हुए विधानसभा को सूचित किया कि इस प्रोजेक्ट को और भी समर्थन मिला है. इस प्रोजेक्ट की शुरुआत करने के लिए जरूरी कदम उठाये जा चुके हैं. इसे लागू करने के लिए सरकार कई एनजीओ के साथ हाथ मिला चुकी है.
30 हजार रुपये की आर्थिक सहायताइन जोड़ों के आर्थिक स्थायित्व का भी ध्यान रखा जाएगा. अनुसूचित जाति और जनजाति श्रेणी में आने वाले पुरुष और महिलाओं जिनकी वार्षिक आय एक लाख से कम है, उन्हें सरकार की तरफ से स्वरोजगार के लिए 30000 रुपये की आर्थिक सहायता दी जाएगी.
इन जोड़ों में यदि पति और पत्नी में से कोई एक अनुसूचित जाति का है, वह 75000 रुपये की आर्थिक सहायता के लिए योग्य माना जाएगा. अलग धर्म के इन युगलों में से यदि कोई सरकारी नौकरी में है, उनके ट्रांसफर के समय उनका विशेष ध्यान रखा जाएगा. मंत्री ने यह स्पष्ट किया कि इस प्रकार के जोड़ों को नौकरी में आरक्षण देने का कोई प्रावधान नहीं है.
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जल्द ही शुरू होगा प्रोजेक्ट
स्वास्थ्य और सामाजिक न्याय मंत्री के.के. शैलजा ने इस प्रोजेक्ट को प्रस्तुत करते हुए विधानसभा को सूचित किया कि इस प्रोजेक्ट को और भी समर्थन मिला है. इस प्रोजेक्ट की शुरुआत करने के लिए जरूरी कदम उठाये जा चुके हैं. इसे लागू करने के लिए सरकार कई एनजीओ के साथ हाथ मिला चुकी है.
30 हजार रुपये की आर्थिक सहायताइन जोड़ों के आर्थिक स्थायित्व का भी ध्यान रखा जाएगा. अनुसूचित जाति और जनजाति श्रेणी में आने वाले पुरुष और महिलाओं जिनकी वार्षिक आय एक लाख से कम है, उन्हें सरकार की तरफ से स्वरोजगार के लिए 30000 रुपये की आर्थिक सहायता दी जाएगी.
इन जोड़ों में यदि पति और पत्नी में से कोई एक अनुसूचित जाति का है, वह 75000 रुपये की आर्थिक सहायता के लिए योग्य माना जाएगा. अलग धर्म के इन युगलों में से यदि कोई सरकारी नौकरी में है, उनके ट्रांसफर के समय उनका विशेष ध्यान रखा जाएगा. मंत्री ने यह स्पष्ट किया कि इस प्रकार के जोड़ों को नौकरी में आरक्षण देने का कोई प्रावधान नहीं है.
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