कृष्णागिरी जिले में होसुर के पास कामनथोट्टी इलाके में लोगों का गुस्सा उस समय झेलना पड़ा जब उन्हें जल्लीकट्टू कार्यक्रम की अनुमति नहीं मिल सकी. (Image: News18)
चेन्नई. तमिलनाडु के कृष्णगिरी जिले में सांडों को काबू करने के कार्यक्रम जल्लीकट्टू (Jallikattu) के आयोजन की अनुमति नहीं मिलने के बाद सैकड़ों ग्रामीणों ने चेन्नई-बेंगलुरु राष्ट्रीय राजमार्ग (Chennai-Bengaluru national highway) को अवरुद्ध कर दिया. इस दौरान पुलिस कर्मियों के साथ झड़प के दौरान प्रदर्शनकारियों को पथराव करते देखा गया. हिंसक प्रदर्शनों में कम से कम 15 पुलिसकर्मियों के घायल होने की खबर है. कृष्णागिरी जिले में होसुर के पास कामनथोट्टी इलाके में प्रशासन को लोगों का गुस्सा उस समय झेलना पड़ा जब उन्हें जल्लीकट्टू कार्यक्रम की अनुमति नहीं मिल सकी.
इस दौरान वायरल हुए एक वीडियो में लोगों के एक बड़े समूह को पुलिस वैन सहित वाहनों पर पथराव करते दिखाया गया है. लोग कथित तौर पर आज सुबह सड़कों पर उतरे और दोपहर तक अपना विरोध जारी रखा. पुलिस ने प्रदर्शनों के जवाब में कथित तौर पर आंसू गैस के गोले छोड़े और कुछ प्रदर्शनकारियों पर लाठी चार्ज भी किया. जानकारी के अनुसार पहले कार्यक्रम की अनुमति दी गई थी लेकिन बाद में उन्हें मना कर दिया गया.
गुस्साए प्रतिभागियों और खेल देखने आए लोगों ने राष्ट्रीय राजमार्ग को अवरुद्ध करते हुए विरोध प्रदर्शन किया. इसके बाद विरोध हिंसक हो गया, जिससे पुलिस को भीड़ के खिलाफ बल प्रयोग करने के लिए मजबूर होना पड़ा. अधिकारियों ने बताया कि कम से कम 15 पुलिसकर्मी घायल हो गए और चेन्नई-बेंगलुरु राष्ट्रीय राजमार्ग पर विरोध प्रदर्शन के कारण 10 किलोमीटर तक यातायात बाधित हुआ. बड़े पैमाने पर विरोध के बाद, स्थानीय अधिकारियों ने भीड़ को नियंत्रित करते हुए, कार्यक्रम आयोजित करने के लिए दो घंटे की अनुमति दी. इसके तुरंत बाद यातायात की आवाजाही को भी नियंत्रित किया गया.
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