नया नियम: आज से बिना RT-PCR टेस्ट के सबरीमाला में नहीं मिलेगी एंट्री, केरल HC के आदेश

सबरीमाला मंदिर
Sabarimala Temple: मंदिर 26 दिसंबर को होने वाली मंडल पूजा के बाद मंदिर को बंद किया जाएगा और दोबारा 31 दिसंबर को मकरविलाकु पूजा के लिए फिर खोला जाएगा. कोरोना वायरस के शुरू होने के बाद पहाड़ी मंदिर पर यह पहली सालाना तीर्थयात्रा है.
- News18Hindi
- Last Updated: December 26, 2020, 11:19 AM IST
तिरुवनंतपुरम. सबरीमाला तीर्थ (Sabarimala Pilgrimage) पर जा रहे श्रद्धालुओं को आज से दर्शन करने से पहले RT-PCR टेस्ट कराना पड़ेगा. यह आदेश केरल हाईकोर्ट (Kerala High Court) और राज्य सरकार ने दिया है. श्रद्धालुओं को मंदिर पहुंचने से पहले अपने साथ नेगेटिव टेस्ट का सर्टिफिकेट रखना होगा. वहीं, त्रवणकोर देवस्वोम बोर्ड का कहना है कि यह सर्टिफिकेट 48 घंटों से ज्यादा पुराना नहीं होना चाहिए. अगर टेस्ट को 48 घंटों से ज्यादा का समय गुजर गया है, तो श्रद्धालु मंदिर में दर्शन नहीं कर पाएंगे.
केरल में स्थित सबरीमाला में भगवान अय्यप्पा (Lord Ayyappa) के दर्शनों के लिए बड़ी संख्या में लोग पहुंचते हैं. कोरोना वायरस (Corona Virus) महामारी के कारण दर्शनों को लेकर कई कड़े नियम शामिल हो गए हैं. इन्हीं नियमों में से एक हैं दर्शन से पहले RT-PCR टेस्ट कराना. यह आदेश 26 दिसंबर शनिवार से लागू हो गए हैं. टीडीबी के अध्यक्ष एन वासु ने कहा 'RT-PCR टेस्ट का कोविड-19 नेगेटिव सर्टिफिकेट मंदिर में प्रवेश से 48 घंटे पहले से ज्यादा का नहीं होना चाहिए. मंदिर पहुंचने वाले श्रद्धालुओं के लिए यह सर्टिफिकेट साथ रखना जरूरी है.' उन्होंने बताया कि इस सर्टिफिकेट के बगैर मंदिर में अनुमति नहीं दी जाएगी.
रोज के श्रद्धालुओं की संख्या भी बढ़ी
हाल ही में हाईकोर्ट ने तीर्थयात्रियों की संख्या को लेकर भी आदेश सुनाया था. अदालत ने रोज यहां 5 हजार श्रद्धालुओं को आने की अनुमति दे दी थी. साथ ही श्रद्धालुओं की बढ़ती संख्या के मद्देनजर राज्य के स्वास्थ्य विभाग ने सबरीमाला पर एंटीजन टेस्टिंग की रफ्तार को बढ़ा दिया है. मकरविलाकु समारोह के दौरान भगवान अय्यप्पा की मूर्ति पूजा के लिए तिरुभरणम ले जाने तीन दिन के जुलूस में 100 लोगों की संख्या सीमित थी. टीडीबी ने बताया कि सबरीमाला के रास्ते में कई जगहों पर होने वाले जुलूस के स्वागत को रद्द कर दिया गया है.इसके अलावा मंदिर 26 दिसंबर को होने वाली मंडल पूजा के बाद मंदिर को बंद किया जाएगा और दोबारा 31 दिसंबर को मकरविलाकु पूजा के लिए फिर खोला जाएगा. कोरोना वायरस के शुरू होने के बाद पहाड़ी मंदिर पर यह पहली सालाना तीर्थयात्रा है.

केरल में कोरोना के हाल
शुक्रवार को राज्य में 5000 नए मामले सामने आए हैं. राज्य में पॉजिटिविटी रेट 11.4 फीसदी पर पहुंच गया है. यहां अब तक 2930 मरीजों की मौत हो चुकी हैं. इन आंकड़ों के हिसाब से राज्य में अब तक कोरोना के कुल 7 लाख 32 हजार 084 मामले सामने आए हैं.
केरल में स्थित सबरीमाला में भगवान अय्यप्पा (Lord Ayyappa) के दर्शनों के लिए बड़ी संख्या में लोग पहुंचते हैं. कोरोना वायरस (Corona Virus) महामारी के कारण दर्शनों को लेकर कई कड़े नियम शामिल हो गए हैं. इन्हीं नियमों में से एक हैं दर्शन से पहले RT-PCR टेस्ट कराना. यह आदेश 26 दिसंबर शनिवार से लागू हो गए हैं. टीडीबी के अध्यक्ष एन वासु ने कहा 'RT-PCR टेस्ट का कोविड-19 नेगेटिव सर्टिफिकेट मंदिर में प्रवेश से 48 घंटे पहले से ज्यादा का नहीं होना चाहिए. मंदिर पहुंचने वाले श्रद्धालुओं के लिए यह सर्टिफिकेट साथ रखना जरूरी है.' उन्होंने बताया कि इस सर्टिफिकेट के बगैर मंदिर में अनुमति नहीं दी जाएगी.
रोज के श्रद्धालुओं की संख्या भी बढ़ी
हाल ही में हाईकोर्ट ने तीर्थयात्रियों की संख्या को लेकर भी आदेश सुनाया था. अदालत ने रोज यहां 5 हजार श्रद्धालुओं को आने की अनुमति दे दी थी. साथ ही श्रद्धालुओं की बढ़ती संख्या के मद्देनजर राज्य के स्वास्थ्य विभाग ने सबरीमाला पर एंटीजन टेस्टिंग की रफ्तार को बढ़ा दिया है. मकरविलाकु समारोह के दौरान भगवान अय्यप्पा की मूर्ति पूजा के लिए तिरुभरणम ले जाने तीन दिन के जुलूस में 100 लोगों की संख्या सीमित थी. टीडीबी ने बताया कि सबरीमाला के रास्ते में कई जगहों पर होने वाले जुलूस के स्वागत को रद्द कर दिया गया है.इसके अलावा मंदिर 26 दिसंबर को होने वाली मंडल पूजा के बाद मंदिर को बंद किया जाएगा और दोबारा 31 दिसंबर को मकरविलाकु पूजा के लिए फिर खोला जाएगा. कोरोना वायरस के शुरू होने के बाद पहाड़ी मंदिर पर यह पहली सालाना तीर्थयात्रा है.
केरल में कोरोना के हाल
शुक्रवार को राज्य में 5000 नए मामले सामने आए हैं. राज्य में पॉजिटिविटी रेट 11.4 फीसदी पर पहुंच गया है. यहां अब तक 2930 मरीजों की मौत हो चुकी हैं. इन आंकड़ों के हिसाब से राज्य में अब तक कोरोना के कुल 7 लाख 32 हजार 084 मामले सामने आए हैं.