वीर शिरोमणी महाराणा प्रताप (Maharana Pratap) के संकट में साथी रहा गाड़ोलिया लोहार समाज आज भी उसी शिद्दत के साथ देशहित में खड़ा हुआ है. सैंकड़ों बरस पहले लिए गए प्रण के मुताबिक स्थायी निवास के बजाय आज भी गाड़ी में अपना जीवन बसर करने वाले गाड़ोलिया लुहार समाज के लोगों ने कोरोना संकट काल (Corona crisis) में मदद का हाथ बढ़ाकर एक बार फिर मिसाल कायम की है.
काल में हर कोई अपने क्षमता के मुताबिक सहयोग के लिए आगे आ रहा है. कई जगह लोग अपने सामर्थ्य के बाहर जाकर भी सहयोग के लिए आगे आ रहे हैं. ऐसा ही एक उदाहरण सामने आया है भीलवाड़ा जिले में. यहां जब समाजसेवी
की बस्ती में राहत सामग्री बांटने गए तो उन्होंने सहयोग लेने के बजाय देने के लिए आगे हाथ बढ़ाकर मिसाल कायम कर दी.
दरअसल भीलवाड़ा में समाजसेवी संगठन हरिसेवा धाम के महंत हंसाराम के साथ बुधवार को शहर के ट्रांसपोर्ट नगर की गाड़ोलिया बस्ती में निशुल्क खाद्य सामग्री वितरण करने गये थे. वहां गाड़िया लोहार परिवारों ने इस खाद्य सामग्री को फ्री में लेने से इनकार कर दिया. यही नहीं उन्होंने अपने बस्ती के लोगों से तत्काल 51 हजार रुपए एकत्रित करके इस सामग्री की कीमत समाजसेवी संगठन को देकर यह कहकर खरीद लिया कि वे इसे जरुरतमंदों में बांटेंगे.
गाडोलिया लोहार कालूलाल का कहना था कि हमारे पास खाना है. लेकिन आज देश संकट में है. इसकी कारण हमने यहां पर लाये 2 सौ पैकेट गरीबों को बांटने के लिए लिए हैं. यदि आगे भी जरूरत होगी तो हम अपनी ओर से और भी सामग्री प्रदान करेंगे. इस मौके पर हरिसेवा धाम के महंत हंसाराम ने कहा कि लोगों को इनसे प्रेरणा लेनी चाहिए. समाजसेवी चांदमल सोमाणी ने कहा कि हम इस बस्ती में भोजन सामग्री देने आये थे. लेकिन इन्होंने यह कहकर मना कर दिया कि हम मेहनत करके खाते हैं. उन्होंने हमारे से यह सामग्री खरीदकर गरीबों तक पहुंचाने के लिए कहा है. यह सभी के लिए अद्भुत उदाहरण है.
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FIRST PUBLISHED : April 15, 2020, 18:28 IST