बीजेपी का गढ़ कहे जाने वाले हाड़ौती में मंगलवार को कांग्रेस के राष्ट्रीय अध्यक्ष राहुल गांधी लोकसभा चुनाव की हुंकार भरेंगे. राहुल की इस रैली को लेकर कांग्रेस कार्यकर्ताओ में उत्साह का माहौल जरूर है लेकिन विधानसभा चुनाव के नतीजों में कांग्रेस का प्रदर्शन बहुत अच्छा नहीं रहा था जितनी उम्मीदें पार्टी को थी. फिलहाल दो लोकसभा सीटों की विधानसभा की कुल 16 सीटों में से बीजेपी 10 पर काबिज है. वहीं कांग्रेस विधानसभा चुनाव से ठीक पहले कांग्रेस से सांसद रहे इज्यराज सिंह के बीजेपी का दामन थामने के बाद प्रत्याशी को लेकर भी तस्वीर धूधंली हैं.
राहुल गांधी के हाड़ौती दौरे के तहत सभा का आयोजन उस बूंदी में रखा गया है जिसकी विधानसभा सीट केशवराय पाटन और बूंदी सीट बीजेपी के कब्जे में है. एक सीट हिण्डोली पर कांग्रेस ने जीत हासिल की थी लेकिन वो भीलवाड़ा लोकसभा क्षेत्र का हिस्सा है. ऐसे में राहुल गांधी कोटा- बूंदी लोकसभा और बारां झालावाड़ लोकसभा दोनों संसदीय सीटों के लिए कांग्रेस के कार्यकर्ताओं में जान फूकने की कौशिश बूंदी की सभा से करेंगे.
मंगलवार को कांग्रेस के राष्ट्रीय अध्यक्ष राहुल गांधी बूंदी में लोकसभा चुनाव की हुंकार भरेंगे.
बूंदी में फिलहाल कांग्रेस के पास जिलाध्यक्ष तक नहीं है और विधानसभा चुनाव में बागी बनकर चुनाव लड़ने वाले पूर्व जिलाध्यक्ष सीएल प्रेमी को कांग्रेस ने निष्कासित कर दिया है. उनकी जगह फिलहाल किसी को निुयक्ति नहीं दी गई है. खेल संकुल, बूंदी में राहुल की सभा को लेकर कांग्रेस कार्यकर्ताओ में उत्साह का माहौल जरूर है लेकिन कांग्रेस के पास कोटा-बून्दी लोकसभा सीट पर पूर्व सासंद इज्यराज सिंह के बीजेपी का दामन थामने के बाद कोई मजबूत चेहरा बीजेपी के प्रत्याशी ओम बिरला के सामने फिलहाल नजर नहीं आ रहा है.
ऐसे में राहुल गांधी अपनी सभा के दौरान प्रत्याशियों की घोषणा के बगैर किसके लिए वोट मांगगे वो अलग बात है. लेकिन कांग्रेसियों ने रणनीती के तहत बूंदी में राहुल गांधी की सभा का कोटा-बून्दी के साथ झालावाड़- बारां और भीलवाड़ा तीनों संसदीय क्षेत्रों को कवर करने की कोशिश की है. कांग्रेस नेताओं का दावा है कि केन्द्र की सरकार ने पांच साल हाड़ौती की उपेक्षा की है. ऐसे में जनता अब कांग्रेस की तरफ उम्मीद से झांक रही है.
किसानों की समस्याओं को दूर करने के लिए केंद्र सरकार की ओर से कोई सहायता नहीं, न एयरपोर्ट बन रहा है, न बंद फैक्ट्रियां चालू किया गया. ऐसे कई काम है जो नहीं किए गए. मोदी सरकार ने पांच साल में कोटा में एक काम नहीं किया.
विधानसभा चुनाव के दौरान बीजेपी के राष्ट्रीय अध्यक्ष अमित शाह की चुनावी सभा भी इसी खेल संकुल में आयोजित की गई थी. इसका फायदा भी बीजेपी को विधानसभा चुनाव में जीत हासिल कर मिला था. ऐसे में अब राहुल गांधी की बूंदी सभा से कांग्रेस पूरे हाड़ौती में मैसेज देने की कोशिश कर रही है. उधर, हाड़ौती की कुल दो लोकसभा सीटों की सभी 16 विधानसभा सीटों में से 10 पर बीजेपी के काब्जा होने से बीजेपी अपने आप को कांग्रेस से ज्यादा मजबूत मान रही है. वहीं केन्द्र सरकार के काम और पीएम मोदी के चहरे पर चुनाव माहौल बनाकर प्रचार अभियान में भी कांग्रेस से एक कदम आगे निकल गई है. हाड़ौती की दोनों सीटे बारां,झालावाड़ पर जहां बीजेपी का करीब 30 साल से कब्जा है वहीं साल 2003 से लगातार विधानसभा और लोकसभा चुनाव में सांसद ओम बिरला ने कोई चुनाव नहीं हारा है. इस चुनाव में भी हाड़ौती में बीजेपी का गढ़ कायम रहने का दावा कर रहे हैं.
भारती जनता पार्टी राजस्थान की सभी 25 सीटों पर जीतेगी. 2014 में जो आंकड़ा रहा था उससे ज्यादा मतों से सभी लोकसभा निर्वाचन क्षेत्रों में विजय हासिल करेंगे.
कांग्रेस के राष्टीय अध्यक्ष राहुल गांधी के दौरे को लेकर कांग्रेस के साथ-साथ बीजेपी की भी नजरें इस सभा पर रहेगी. इसके काउंटर में बीजेपी हाड़ौती में किस स्टार प्रचारक को मैदान में उतारेगी और राहुल का दौरा हाड़ौती में बीजेपी के सामने कमजोर नजर आ रही कांग्रेस को कितनी मजबूती देगी यह देखने वाली बात होगी.