आज बॉक्सिंग डे पर दो टेस्ट मैचों की शुरुआत हुई. (Cricket Australia/Twitter)
नई दिल्ली: आज 26 दिसंबर है, जिसे बॉक्सिंग-डे (Boxing-Day) भी कहा जाता है. आज के दिन दो टेस्ट मैचों की शुरुआत हुई. पहला मैच तड़के ऑस्ट्रेलिया और साउथ अफ्रीका के बीच शुरू हुआ जबकि दूसरा टेस्ट मैच पाकिस्तान की धरती पर मेजबान देश और न्यूजीलैंड के बीच खेला जा रहा है. इन दोनों ही टेस्ट मैच को बॉक्सिंग डे टेस्ट कहा जाता है. ऐसे में यह मन में यह सवाल उठना लाजमी है कि आखिरी बॉक्सिंग-डे क्या है? आखिर क्यों बॉक्सिंग-डे मनाया जाता है? क्या इसका मुक्केबाजी से भी है कोई संबंध?
मुक्केबाजी से क्या है संबंध?
हम यहां आपको स्पष्ट कर दें कि नाम में बॉक्सिंग आने से इसका मुक्केबाजी के खेल से कोई लेना-देना नहीं है. ईसाई धर्म के लोग क्रिसमस से अगले दिन को बॉक्सिंग डे के रूप में मनाते हैं. ऐसा सदियों से होता आ रहा है. इस दिन को ईसाई धर्म को मानने वाले लोग पवित्र मानते हैं.
क्या होता है बॉक्सिंग-डे?
बॉक्सिंग डे को लेकर हर जगह अलग-अलग धारणा है. क्रिसमस के दिन बच्चों और बड़ों को गिफ्ट देने की परंपरा है. एक मान्यता के अनुसार सांता क्लॉस अपने पिटारे से बच्चों को गिफ्ट देता है. सभी गिफ्ट उसी दिन ना खोलकर उसे अगले दिन यानी 26 दिसंबर को खोले जाते हैं. बॉक्स को अनबॉक्स करने (खोलने) के दिन को बॉक्सिंग-डे का नाम दिया गया है. एक अन्य थ्योरी के मुताबिक क्रिसमस पर कुछ लोगों को छुट्टी नहीं मिल पाती है. ऐसे में उन्हें अगले दिन गिफ्ट देकर छुट्टी दी जाती है. जिसके चलते इसे बॉक्सिंग-डे का नाम दिया गया है.
कब खेला गया पहला बॉक्सिंग-डे टेस्ट?
साल 1950 में पहला बॉक्सिंग-डे टेस्ट खेला गया था. ऑस्ट्रेलिया और इंग्लैंड की टीमों का एक दूसरे से आमना-सामना हुआ. इस मैच में ऑस्ट्रेलिया ने बाजी मारी थी. इसके बाद आने वाले सालों में साउथ अफ्रीका, न्यूजीलैंड जैसी टीमों ने भी बॉक्सिंग-डे से टेस्ट मैच की शुरुआत की. 1980 के बाद से नियमित तौर पर बॉक्सिंग-डे टेस्ट खेला जा रहा है.
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