डमेस्टिक कुक-टॉप को स्टार्ट करने के लिए इलेक्ट्रिक लाइटर की सहायता ली जाती है. नये गैस कुक-टॉप इन-बिल्ड लाइटर के साथ भी आ रहे हैं जिसमें नोब को घुमाते ही गैस कुक टॉप जल जायेगा, image-canva
नई दिल्ली. एक समय था जब हमारे देश में सिर्फ और सिर्फ लकड़ियां जलाकर खाना पकाया जाता था, लेकिन इसके लिए भी मिट्टी लीपकर चूल्हा बनाया जाता था. उसमें तरीके से लकड़ियां छोटी-छोटी काटकर सेट की जाती थीं. इस चूल्हे से भयंकर धुआं होता था जिसके चलते अमूमन चूल्हे बड़े-बड़े आंगन में ही बनाए जाते थे लेकिन जब शहर विकसित होने लगे तो जगह की किल्लत के चलते आंगन रखना लग्जरी हो गया और मिट्टी का चूल्हा जलाना भी अपने आप में एक वक्त खपाऊ काम बन गया.
यहां से एलपीजी गैस से चलने वाले कुक-टॉप की शुरुआत हुई और फिर खाना पकाने की तरीके में दिनों दिन ऐसा विकास हुआ कि आज हमारे पास एक से बढ़कर एक कुकिंग ऑप्शन्स हैं. ऐसे-ऐसे कुक-टॉप्स हैं जिनमें दो घंटे में पकने वाला खाना 20 मिनट में पक सकता है और ऐसे भी कुक-टॉप्स हैं जिसमें खाना तो गर्म होता है, पर बर्तन फिर भी ठंडा ही रहता है. आइए जानते हैं ऐसे ही 5 कुक टॉप्स के बारे में –
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एलपीजी गैस से चलने वाला कुक-टॉप
सबसे पहले एलपीजी गैस से चलने वाला कुक-टॉप की बात करते हैं, जो अमूमन हम सबके घरों में होता ही है. इसमें घरेलू या कमर्शियल एलपीजी सिलिंडर को एक रेग्युलेटर से अटैच करके जलाया जाता है. इसकी कॉस्ट बहुत कम होती है और महीने में सिलेंडर रिफिलिंग का खर्च 1000 रुपये के आसपास आता है. मेट्रो सिटीज में गैस रिफिलिंग के लिए पाइप लाइंस भी मौजूद है. इस घरेलू कुक-टॉप को स्टार्ट करने के लिए इलेक्ट्रिक लाइटर की सहायता ली जाती है. नए गैस कुक-टॉप इन-बिल्ड लाइटर के साथ भी आ रहे हैं जिसमें नोब को घुमाते ही गैस कुक टॉप जल जायेगा.
कमर्शियल कुक-टॉप
गैस में ही कमर्शियल कुक-टॉप भी आते हैं. इसमें और घरेलू कुक-टॉप में बेसिक फ़र्क साइज का होता है. इसमें स्टोव साइज 60 इंचेस तक चौड़ा मिल जाता है. इसमें कुक-टॉप की संख्या 6 से 8 तक हो सकती है. इस कमर्शियल कुक-टॉप में हीट अत्यधिक होने की वजह से इग्ज़ॉस्ट या चिमनी लगानी जरूरी होती है.
इलेक्ट्रिक कुक-टॉप
इसके विपरीत इलेक्ट्रिक कुक-टॉप में एक इलेक्ट्रॉनिक कोइल होती है जो करंट से गर्म होने लगती है. यही हीट बर्तन को गर्म कर देती है और कुकिंग शुरु हो जाती है. इसमें बिजली की खपत बहुत ज्यादा हो सकती है और लम्बी कुकिंग के बाद कुक-टॉप बंद होने के बाद भी गर्म बना रहता है जिसपर गलती से भी हाथ लग जाए तो दुर्घटना हो सकती है.
इंडक्शन कुक-टॉप्स
अब इंडक्शन कुक-टॉप्स बाजार में आ गए हैं. इसकी खासियत ये है कि इसमें न टॉप बहुत गर्म होता है और न ही बर्तन, लेकिन आपका खाना बहुत जल्दी पक जाता है. ऐसा इसलिए मुमकिन हुआ है क्योंकि इंडक्शन कुक-टॉप इलेक्ट्रॉनिक रेडीऐशन के द्वारा काम करता है. इसमें जरा सी भी हीट टॉप पर नहीं आती बल्कि टॉप पर रखे पैन या बर्तन के अंदर रखे फूड पर डायरेक्ट पहुंचती है और खाना बनाने में 40% तक कम समय लगता है. वहीं बॉइलिंग के लिए ये बेस्ट कुक-टॉप है क्योंकि गैस टॉप के मुकाबले यह मात्र 20% समय लेता है. लेकिन इसको इस्तेमाल करने के लिए खास इंडक्शन वाले बर्तन लेने होते हैं. नॉर्मल एल्युमिनियम या आइरन बेस वाले बर्तन इसमें इस्तेमाल नहीं हो पाते.
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डाउनड्राफ्ट कुक-टॉप
डाउनड्राफ्ट कुक-टॉप बिल्कुल नए तरह का कुक-टॉप है. यह गैस या इलेक्ट्रिक दोनों के लिए इस्तेमाल हो सकता है. इसकी खासियत है कि इसमें इनबिल्ड इग्ज़ॉस्ट वेनटीलेशन लगा होता है जिसकी वजह से कुक-टॉप हीट नहीं होता. यह कुक-टॉप उन घरों के लिए बेस्ट है यहां ओपन किचन है और वेंटिलेशन के लिए एक्स्ट्रा स्पेस नहीं है. यह कुक-टॉप 3 से लेकर 6 टॉप्स तक के ऑप्शन में मिल सकता है.
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