पर विवादित पोस्ट डालकर धार्मिक भवनाएं भड़काने के मामले में ग्रुप एडमिन के खिलाफ पुलिस ने केस दर्ज किया है. केस दर्ज होने के बाद से आरोपी ग्रुप एडमिन फरार बताया जा रहा है.
आज युवाओं में जिस प्रकार से सोशल साइट्स का क्रेज बढ़ रहा है, ठीक उसी प्रकार से इसके दुरुपयोग के मामले भी बढ़ते जा रहे हैं. यहां तक कि आजकल लोग इन्हीं सोशल साइट्स के माध्यम से लोगों की भावनाओं तक को ठेस पहुंचा रहे हैं. व्हाट्सऐप ग्रुप से जुड़ा ऐसा ही एक मामला आगरा में सामने आया है जिसमें न सिर्फ ग्रुप एडमिन के खिलाफ मुकदमा दर्ज हुआ है.
डॉ. भीमराव अम्बेडकर विश्वविद्यालय से पीएचडी कर रही एक छात्रा को बिना उसकी मर्जी के एक व्हाट्सऐप ग्रुप में जोड़ा गया और उसके बाद धार्मिक भावनाओं को ठेस पहुंचाने के लिए उस ग्रुप में एडमिन और ग्रुप के कुछ सदस्यों द्वारा दूसरे समुदाय और कुछ छात्राओं को निशाना बनाते हुए विवादित पोस्ट किए गए. इसके बाद छात्रा ने ग्रुप छोड़ दिया, लेकिन उसे फिर से ग्रुप में जोड़ लिया गया.
इससे परेशान होकर उस छात्रा ने परिजनों की मदद से व्हाट्सऐप ग्रुप एडमिन के खिलाफ आगरा के लोहामंडी थाने में मुकदमा दर्ज करा दिया है.
पीड़ित लड़की अपनी पहचान छुपाने के लिए भले ही कैमरे के सामने आने से कतरा रही हो, लेकिन आगरा की कई लड़कियां आज उसके समर्थन में खड़ी हो गई हैं. उनकी मानें तो न सिर्फ ऐसे लोगों को कड़ी सजा मिलनी चाहिए बल्कि ग्रुप एडमिन को बिना किसी की मर्जी के किसी को भी ग्रुप में जोड़ने पर कार्रवाई भी जरूर होनी चाहिए.
गौरतलब है कि उत्तर प्रदेश पुलिस ने सोशल मीडिया और व्हॉट्सऐप ग्रुप्स पर भ्रामक खबरें फैलाने और अफवाहों पर लगाम कसने के लिए लोगों को पहले ही आगाह कर दिया था.
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FIRST PUBLISHED : April 28, 2017, 19:01 IST