आगरा में कुफरी नीलकंठ आलू के उत्पादन से किसान खासे उत्साहित हैं.
आगरा. अब आपके किचन में जल्द ही नीला आलू भी नजर आएगा. उत्तर प्रदेश के आगरा (Agra) में इस साल कुछ किसानों ने कुफरी नीलकंठ प्रजाति के आलू (Kufri Neelkanth Potato) की खेती की थी और खोदाई के बाद उत्पादन में अच्छा रेस्पांस मिल रहा है. नीलकंठ नामक इस आलू की किस्म की खूबियां हैं. आलू उत्पादन का आगरा (Agra) बहुत बड़ा केंद्र है. कुफरी नीलकंठ प्रजाति के आलू किसानों को खूब भा रहा है.
दरअसल केंद्रीय आलू अनुसंधान संस्थान मेरठ के वैज्ञानिकों ने यह आलू विकसित किया है. कुफरी नीलकंठ आलू में पोषक तत्व की मात्रा ज्यादा है. नीलकंठ आलू का उत्पादन 400 कुंतल प्रति हेक्टेयर है. माना जा रहा है कि अब वह दिन दूर नहीं, जब घर-घर नीला आलू अपनी धाक जमाएगा. आगरा में आए केंद्रीय आलू अनुसंधान संस्थान मेरठ के मुख्य तकनीकी अधिकारी डॉ अशोक चौहान ने बताया कि कुफरी नीलकंठ किस्म का आलू 3 साल पहले विकसित की गई. इसमें सामान्य आलू की तुलना में पोषक तत्व की मात्रा ज्यादा है.
एंटी ऑक्सीडेंट ज्यादा
डॉ अशोक चौहान ने बताया कि नीलकंठ आलू में एंथोसाइनिल, एंटी ऑक्सीडेंट की मात्रा ज्यादा है. मानव पोषक तत्व के हिसाब से यह आलू अत्यंत महत्वपूर्ण है. आगरा में आलू की खुदाई जारी है. एत्मादपुर के किसान मनोज भारद्वाज ने बताया कि इस आलू क खेती में कोई रोग भी नहीं आया. सिर्फ देसी खाद डालकर खेती की और उत्पादन बेहद शानदार रहा है. यह आलू 90 से 100 दिन में तैयार हो जाता है.
आलू उत्पादन का बड़ा केंद्र है आगरा
आगरा में इस समय 290 शीतगृह हैं.
280 कोल्ड स्टोरेज चालू हालत में हैं, 10 कोल्ड स्टोरेज बंद हैं.
यहां 6000 करोड़ पैकेट आलू भंडारण की क्षमता है.
आलू का एक पैकेट 50 किलो तक का होता है.
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