हाईकोर्ट ने तीनों कश्मीरी छात्रों की जमानत मंजूर कर ली है. पुलिस ने तीनों को 2021 में गिरफ्तार किया था. (फाइल फोटो)
प्रयागराज. उत्तर प्रदेश विधानसभा चुनाव (UP Election 2022) को लेकर इलाहाबाद हाईकोर्ट (Allahabad High Court) ने कहा है कि चुनाव के दौरान बिना वजह शस्त्र (Arms) जमा करने के लिए बाध्य न किया जाए. इस बारे में पहले पारित आदेश का पालन किया जाए. यह आदेश न्यायमूर्ति एसडी सिंह ने राजापुर प्रयागराज के निवासी नगर पालिका परिषद के सेवानिवृत्त अधिशासी अधिकारी और बख्शी एजुकेशनल ट्रस्ट के अध्यक्ष अनीस अहमद की याचिका को निस्तारित करते हुए दिया है.
याची की ओर से कहा गया कि उसके खिलाफ कोई आपराधिक केस दर्ज नहीं है. उसने अपनी सुरक्षा के लिए लाइसेंसी पिस्टल रखा है. हाईकोर्ट ने हरिहर सिंह केस में पहले ही आदेश जारी किया है कि जब तक आपराधिक केस की ठोस वजह न हो, किसी को चुनाव के दौरान शस्त्र जमा करने को बाध्य न किया जाए. इसके बावजूद उसे शस्त्र जमा करने को कहा जा रहा है. कोर्ट ने कहा कि आपराधिक केसों पर विचार कर लिखित आदेश दिया जाए. अनावश्यक शस्त्र जमा न कराए जाएं. कोर्ट ने डीजीपी को निर्देश दिया था कि सर्कुलर जारी कर सभी जिलों के एसएसपी व एसपी को आदेश का पालन करने का निर्देश दें. इस आदेश के बावजूद पुलिस वरिष्ठ नागरिक को परेशान कर रही है.
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बता दें कि उत्तर प्रदेश में सात चरणों में मतदान होना है. इसकी शुरुआत 10 फरवरी को राज्य के पश्चिमी हिस्से के 11 जिलों की 58 सीटों पर मतदान के साथ होगी. दूसरे चरण में 14 फरवरी को राज्य की 55 सीटों पर मतदान होगा. उत्तर प्रदेश में तीसरे चरण में 59 सीटों पर, 23 फरवरी को चौथे चरण में 60 सीटों पर, 27 फरवरी को पांचवें चरण में 60 सीटों पर, तीन मार्च को छठे चरण में 57 सीटों पर और सात मार्च को सातवें चरण में 54 सीटों पर मतदान होगा. वहीं यूपी चुनाव के नतीजे 10 मार्च को आएंगे.
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