बदायूं गैंगरेप: कब्रों से शवों को नहीं निकाल पाई सीबीआई

बदायूं गैंगरेप में बलात्कार पीड़ितों के शवों का दोबारा पोस्टमार्टम करने के सीबीआई के इरादों पर गंगा के बढ़े जलस्तर ने पानी फेर दिया। शवों को दफनाए जाने के करीब 40 दिन बाद सीबीआई की टीम बदायूं में है।
बदायूं गैंगरेप में बलात्कार पीड़ितों के शवों का दोबारा पोस्टमार्टम करने के सीबीआई के इरादों पर गंगा के बढ़े जलस्तर ने पानी फेर दिया। शवों को दफनाए जाने के करीब 40 दिन बाद सीबीआई की टीम बदायूं में है।
- News18
- Last Updated: July 20, 2014, 10:33 AM IST
बदायूं गैंगरेप में बलात्कार पीड़ितों के शवों का दोबारा पोस्टमार्टम करने के सीबीआई के इरादों पर गंगा के बढ़े जलस्तर ने पानी फेर दिया। शवों को दफनाए जाने के करीब 40 दिन बाद सीबीआई की टीम बदायूं में है।
पोस्टमार्टम के बाद शवों को 28 मई को गंगा नदी के अटैना घाट के पास दफनाया गया था। जिस जगह शवों को दफनाया गया था, वहां शनिवार को पांच-छह फीट पानी भर गया था।
जिला प्रशासन और सीबीआई ने बालू की बोरियां डलवाकर उस जगह को पानी से बचाने का प्रयास किया, पर वे सफल नहीं हो पाए। यहां तक कि पंप लगाकर पानी निकालने का प्रयास भी असफल रहा। इसके बाद अधिकारियों ने कोशिश करनी छोड़ दी।
बंदायू के पुलिस अधीक्षक मनीष चौहान ने कहा कि शवों को निकालने के लिए 20 जुलाई को एक बार फिर कोशिश की जाएगी।मई में बदायूं के एक गांव में 14 और 15 साल की दो बहनों से गैंगरेप कर उसकी निर्ममतापूर्वक हत्या के बाद उनके शवों को पेड़ से लटका दिया गया था। इस घटना की देशभर में कड़ी भर्त्सना हुई थी। इस कारण कई सियासी दलों ने अखिलेश सरकार के कानून व्यवस्था पर सवाल उठाए थे।
बदायूं गैंगरेप में भारी दबाव और कड़ी आलोचना के बाद दो पुलिसकर्मी सर्वेश यादव और रक्षपाल यादव सहित सात लोगों के खिलाफ एफआईआर दर्ज किया गया था। बाद में डीएम और एसएसपी को भी सस्पेंड कर दिया गया था।
पोस्टमार्टम के बाद शवों को 28 मई को गंगा नदी के अटैना घाट के पास दफनाया गया था। जिस जगह शवों को दफनाया गया था, वहां शनिवार को पांच-छह फीट पानी भर गया था।
जिला प्रशासन और सीबीआई ने बालू की बोरियां डलवाकर उस जगह को पानी से बचाने का प्रयास किया, पर वे सफल नहीं हो पाए। यहां तक कि पंप लगाकर पानी निकालने का प्रयास भी असफल रहा। इसके बाद अधिकारियों ने कोशिश करनी छोड़ दी।
बदायूं गैंगरेप में भारी दबाव और कड़ी आलोचना के बाद दो पुलिसकर्मी सर्वेश यादव और रक्षपाल यादव सहित सात लोगों के खिलाफ एफआईआर दर्ज किया गया था। बाद में डीएम और एसएसपी को भी सस्पेंड कर दिया गया था।