इलाके में जलभराव से आजिज महिला ने हाथ जोड़कर कही ऐसी बात कि हक्के-बक्के रह गये कमिश्नर

कमिश्नर से हाथ जोड़कर विनती करती बुजुर्ग महिला
बुजुर्ग महिला अपने इलाके में जलभराव (Water Logging) से परेशान थी और इसी वजह से उसने मंडल आयुक्त के सामने अपनी बात रखने के लिए गांधीवादी तरीका अपनाया.
- News18 Uttar Pradesh
- Last Updated: November 18, 2020, 1:11 PM IST
इटावा. उत्तर प्रदेश सरकार की नगरीय इलाकों में साफ-सफाई की व्यवस्था की कलई इटावा (Etawah) में कानपुर मंडल के आयुक्त डॉ. राजशेखर के दौरे पर उस समय खुल गयी, जब शहर की मलिन बस्ती (Slum) में एक महिला ने हाथ जोड़कर उनसे विनती की. बुजुर्ग महिला के इस व्यवहार से आयुक्त हक्के-बक्के रह गए. मौके पर मौजूद अन्य अधिकारियों को भी कुछ समझ में नहीं आया. हालांकि आयुक्त के सामने ही नगर पालिका प्रशासन के अधिकारी महिला की समस्या दूर करने के लिए मौके से रवाना हो गये.
दरअसल बुजुर्ग महिला अपने इलाके में जलभराव से परेशान थी और इसी वजह से उसने मंडल आयुक्त के सामने अपनी बात रखने के लिए गांधीवादी तरीका अपनाया.
आयुक्त दो दिवसीय दौरे पर इटावा आए हुए हैं. इसी दौरान बुधवार को आयुक्त जिला प्रशासन के अधिकारियों के साथ में शहर में मलिन बस्ती रानीबाग में साफ-सफाई का निरीक्षण करने निकले थे. स्थानीय लोगों ने आयुक्त के सामने शिकायत रखी कि आम रास्ते पर ही नगरपालिका ने कूड़ा केंद्र बना रखा है. जब बड़े अधिकारियों का दौरा होता है तो कूड़े को साफ कराकर वाहवाही लूटने की कोशिश होती है. लेकिन अधिकारियों के जाते ही हाल पहले जैसा हो जाता है.
रानीबाग की रहने वाली रामप्यारी बताती हैं कि जब कभी बड़े अफसर मलिन बस्ती का दौरा करने के लिए आते हैं तो सफाई इस कदर कराई जाती है कि ऐसा प्रतीत होता है कि कभी वो इलाका गंदा ही नहीं हुआ हो.यहीं के सुरेंद्र सिंह राठौर कहते हैं कि अधिकारियों के दौरे के दौरान जरूर साफ सफाई होती है लेकिन सामान्य तौर पर नगर पालिका के सफाईकर्मी अपनी मनमानी करते हैं. केवल बड़े अधिकारियों को खुश करने के लिए सफाई की जाती है, लेकिन स्थानीय लोगों को हमेशा परेशान किया जाता है.
आयुक्त ने बताया कि मुख्यमंत्री की मलिन बस्तियों में साफ-सफाई के साथ-साथ अन्य मूलभूत सुविधाएं प्रदान करने के आदेश के तहत उनका ये दौरा था. स्थानील लोगों की हर शिकायत को जल्द दूर की जाएगी.
आयुक्त के साथ डीएम श्रुति सिंह, सीडीओ राजागणपति आर, एडीएम ज्ञानप्रकाश श्रीवास्तव, एसडीएम सिदार्थ, नगर पालिका परिषद के अधिशाषी अधिकारी अनिल कुमार समेत कई अधिकारी मौजूद रहे.
दरअसल बुजुर्ग महिला अपने इलाके में जलभराव से परेशान थी और इसी वजह से उसने मंडल आयुक्त के सामने अपनी बात रखने के लिए गांधीवादी तरीका अपनाया.
आयुक्त दो दिवसीय दौरे पर इटावा आए हुए हैं. इसी दौरान बुधवार को आयुक्त जिला प्रशासन के अधिकारियों के साथ में शहर में मलिन बस्ती रानीबाग में साफ-सफाई का निरीक्षण करने निकले थे. स्थानीय लोगों ने आयुक्त के सामने शिकायत रखी कि आम रास्ते पर ही नगरपालिका ने कूड़ा केंद्र बना रखा है. जब बड़े अधिकारियों का दौरा होता है तो कूड़े को साफ कराकर वाहवाही लूटने की कोशिश होती है. लेकिन अधिकारियों के जाते ही हाल पहले जैसा हो जाता है.
रानीबाग की रहने वाली रामप्यारी बताती हैं कि जब कभी बड़े अफसर मलिन बस्ती का दौरा करने के लिए आते हैं तो सफाई इस कदर कराई जाती है कि ऐसा प्रतीत होता है कि कभी वो इलाका गंदा ही नहीं हुआ हो.यहीं के सुरेंद्र सिंह राठौर कहते हैं कि अधिकारियों के दौरे के दौरान जरूर साफ सफाई होती है लेकिन सामान्य तौर पर नगर पालिका के सफाईकर्मी अपनी मनमानी करते हैं. केवल बड़े अधिकारियों को खुश करने के लिए सफाई की जाती है, लेकिन स्थानीय लोगों को हमेशा परेशान किया जाता है.
आयुक्त ने बताया कि मुख्यमंत्री की मलिन बस्तियों में साफ-सफाई के साथ-साथ अन्य मूलभूत सुविधाएं प्रदान करने के आदेश के तहत उनका ये दौरा था. स्थानील लोगों की हर शिकायत को जल्द दूर की जाएगी.
आयुक्त के साथ डीएम श्रुति सिंह, सीडीओ राजागणपति आर, एडीएम ज्ञानप्रकाश श्रीवास्तव, एसडीएम सिदार्थ, नगर पालिका परिषद के अधिशाषी अधिकारी अनिल कुमार समेत कई अधिकारी मौजूद रहे.