मनोज कुमार शर्मा/लखीमपुर खीरी. यूपी के लखीमपुर खीरी (Lakhimpur Kheri) जिले में 3 अक्टूबर को हुए तिकुनिया हिंसाकांड (Tikunia Violence) मामले में सोमवार को एसआईटी (SIT) चार्जशीट दाखिल कर सकती है. आज तिकुनिया कांड की घटना को तीन महीने पूरे होने जा रहे हैं. जांच टीम को केस में पहली गिरफ्तारी होने के 90 दिन पूरे होने यानी कि तीन महीने में चार्जशीट दाखिल करनी है. सूत्रों से मिली जानकारी के मुताबिक लगभग 1800 पन्ने चार्जशीट जांच टीम ने तैयार किया है.
बता दें कि 3 अक्तूबर को तिकुनिया कस्बे में हुई हिंसा में चार किसानों और एक पत्रकार सहित आठ लोगों की जान गई थी. तिकुनिया कांड में केंद्रीय गृह राज्य मंत्री अजय मिश्र का बेटा आशीष मिश्र मोनू समेत 13 आरोपी जिला कारागार में बंद है. आशीष मिश्र की गिरफ्तारी भले ही 10 अक्तूबर को हुई थी, मगर उससे पहले सात अक्तूबर को आशीष मिश्र के करीबी लवकुश और आशीष पांडेय को गिरफ्तार कर लिया गया था. दोनों को आठ अक्तूबर को न्यायिक अभिरक्षा में जेल भेजा गया था. देश की राजनीति की दशा और दिशा को प्रभावित करने वाले तिकुनिया कांड की घटना में केंद्रीय मंत्री के बेटे आरोपी है. मामला हाईप्रोफाइल होने की वजह से मीडिया की सुर्खियों में रहा है.
गौरतलब है कि 3 अक्टूबर को हुई इस घटना में चार किसानों व एक स्थानीय पत्रकार समेत आठ लोगों की हत्या हुई थी. आशीष मिश्रा व उसके साथियों पर आरोप है कि वह फायरिंग करते हुए किसानों को अपनी गाड़ी से रौंदते हुए निकल गया. इसमें चार की मौत और कई गंभीर घायल हो गये. इसके बाद 4 अक्टूबर को तिकुनिया थाने में आशीष मिश्रा समेत कई अन्य के खिलाफ एफआईआर दर्ज की गई थी. हालांकि बाद में एसआईटी की जांच में इस बात का खुलासा हुआ कि यह एक हादसा नहीं बल्कि सोची समझी साजिश के तहत हत्याकांड है.
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