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कितना सच्चा है साल 1954 के कुंभ को लेकर किया गया पीएम मोदी का दावा?

The StatesMan में छपी एक रिपोर्ट ये दावा करती है कि 1954 में कुंभ में हुई भगदड़ में 1000 लोग मारे गए थे. इस घटना के बाद ...अधिक पढ़ें

    उत्तर प्रदेश स्थित कौशांबी में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने बुधवार को चुनावी रैली की. समाचार एजेंसी एएनआई के मुताबिक इस रैली में पीएम मोदी ने मार्च में संपन्न हुए कुंभ मेले का जिक्र करते हुए कहा, 'जब पंडित नेहरू प्रधानमंत्री थे तो वो एक बार कुंभ मेले में आए थे. तब अव्यवस्था के कारण कुंभ में भगदड़ मच गई थी, हजारों लोग कुचलकर मारे गए थे. लेकिन पंडित नेहरू पर कोई दाग न लग जाए, इसलिए उस समय मीडिया ने भी ये खबर नहीं दिखाई थी.'

    आजादी के बाद पहले कुंभ का आयोजन 1954 में हुआ था. जिस हादसे का जिक्र पीएम मोदी ने कौशांबी की रैली में किया वह 3 फरवरी 1954 को हुआ था. इस दिन मौनी अमावस्या का स्नान था. इसमें मची भगदड़ में करीब 800 लोगों की जान गई थी और हजारों लोग घायल हुए थे. सवाल यही है कि क्या वाकई मीडिया में यह खबर नहीं थी?

    The StatesMan में 4 फरवरी को 2019 को प्रकाशित रिपोर्ट में इसका घटना का जिक्र है, '3 फरवरी 1954 को जो हुआ, वह स्वतंत्र भारत के इतिहास के सबसे भयानक अध्यायों में से था. उस दिन मौनी अमावस्या (या अमावस्या के दिन) के शुभ अवसर पर पवित्र स्नान करने के लिए लाखों भक्त संगम पहुंचे थे. लेकिन घाट पर लगभग 1000 लोग मारे गए और भगदड़ के कारण लगभग 2000 लोग घायल हो गए.'

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    The StatesMan की रिपोर्ट लिखने वाले पत्रकार मानस सेन गुप्ता ने भगदड़ की तस्वीरें खींचने वाले एकमात्र फोटोग्राफर एन एन मुखर्जी के हवाले से लिखा है- 'मैं अकेला था जो एक हजार से अधिक लोगों की मौत की भगदड़ की तस्वीरें लेने वाला था, जो कुंभ मेले में कुचल दिये गये थे. मुझे आज भी यह याद है कि मैंने मरने वाले या मृत पुरुषों, महिलाओं और बच्चों के शवों के ऊपर जाकर कैसे तस्वीरें खींचीं. मेरे कपड़े भीड़ में टुकड़े-टुकड़े हो गए. एक मरती हुई बूढ़ी औरत ने मेरी पैंट को पकड़ लिया था.'

    हालांकि गुप्ता की रिपोर्ट के मुताबिक, उस वक्त प्रशासन ने यह मानने से इनकार कर दिया था कि 1,000 से ज्यादा लोगों की मौत हुई थी. इतना ही नहीं जब अगले दिन शवों का दाह संस्कार किया जाने लगा तो किसी पत्रकार को वहां जाने की अनुमति नहीं थी. रिपोर्ट के मुताबिक जब एन एन मुखर्जी वहां गांव वाले बनकर गए और तस्वीर खींचकर लाए, तो अलगे दिन ये एक पत्रिका में छप गई थीं. उस वक्त यूपी के सीएम गोविन्द वल्लभ पंत इससे बहुत नाराज हुए थे.' गुप्ता के मुताबिक कुंभ में हुई भगदड़ की घटना के बाद तात्कालीन पीएम जवाहरलाल नेहरू ने नेताओं और वीआईपी लोगों को मेले में न जाने की सलाह दी थी.

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    Tags: Allahabad Kumbh Mela, BJP, Congress, Jawaharlal Nehru, Lok Sabha Election 2019, Narendra modi

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