मेरठ : ऑर्गेनिक खेती के लिए ट्रेंड करेंगे एग्रीकल्चर एडवाइजर, 26 लोगों को दी जा रही ट्रेनिंग

12 राज्यों के 26 लोगों को यहां दी जाएगी ट्रेनिंग और बनाया जाएगा एग्रीकल्चर एडवाइजर.
किसानों की आय दोगुनी करने के लिए भारतीय कृषि प्रणाली अनुसंधान संस्थान का बड़ा अभियान. 12 राज्यों के 26 लोगों को दी जा रही है ऑर्गेनिक फार्मिंग की विशेष ट्रेनिंग.
- News18Hindi
- Last Updated: February 25, 2021, 9:52 PM IST
मेरठ. मेरठ (Meerut) में भारतीय कृषि प्रणाली अनुसंधान संस्थान (Indian institute of farming systems Research) आजकल किसानों (Farmers) की आय (Income) दोगुनी करने के मिशन को चरितार्थ करने मे जुटा है. संस्थान के वैज्ञानिक बारह राज्यों के लोगों को ऑर्गेनिक खेती (Organic Farming) के ऐसे गुर सिखा रहे हैं, जिससे किसानों की आय दोगुनी हो जाए. तमिलनाडु, कर्नाटक, ओड़िशा, महाराष्ट्र, छत्तीसगढ़, आंध्र प्रदेश, गुजरात, सिक्किम, गोवा, झारखंड, हरियाणा और पंजाब के 26 लोग इस ऑर्गेनिक फॉर्मिंग के ऐसे गुर सीख रहे हैं. वैज्ञानिक तरीके से इन सभी 12 राज्यों के लोगों को ट्रेनिंग दी जा रही है.
पन्द्रह दिन तक भारतीय कृषि प्रणाली अनुसंधान संस्थान के वैज्ञानिक इन सभी को क्लास रूम ट्रेनिंग देंगे. उसके बाद इन्हें फील्ड में तैनात किया जाएगा. ऑर्गेनिक खेती को लेकर क्लास रूम ट्रेनिंग करने वाले हर शख्स के साथ एक मेंटर वैज्ञानिक हमेशा फोन पर उपलब्ध रहेगा. तकरीबन 8 महीने तक फील्ड में ऑर्गेनिक खेती करने के बाद इन सभी को एक सर्टिफिकेट भी दिया जाएगा. इस सर्टिफिकेट के मिलने के बाद ये एग्रीकल्चर एडवाइजर के रूप में कार्य कर सकेंगे और किसानों को ऑर्गेनिक खेती के गुर सीधे तौर पर बता सकेंगे.
भारतीय कृषि प्रणाली अनुसंधान संस्थान में वरिष्ठ वैज्ञानिक डॉक्टर पूनम कश्यप ने बताया कि आईआईएफएसआर मैनेज हैदराबाद के साथ मिलकर ऑर्गेनिक फॉर्मिंग का कोर्स करवाया जा रहा है. 2018-19 से यह कोर्स करवाया जा रहा है और 5 बैच अब तक पासआउट हो चुके हैं. 95 प्रतिभागी भाग ले चुके हैं, जिनमें 17 लोगों को सर्टिफाइड फार्म एडवाइजर का सर्टिफिकेट दिया जा चुका है. ये लोग ऑर्गेनिक फॉर्मिंग को और ज्यादा बढ़ावा दे रहे हैं. वर्तमान बैच 23 फरवरी से शुरू होकर 9 मार्च तक चलेगा.
देश के विभिन्न राज्यों से आए लोग इस ट्रेनिंग को लेकर खासे उत्साहित हैं. तमिलनाडु, गोवा, हरियाणा, पंजाब सहित बारह राज्यों से आए लोगों से जब हमने बात की, तो वे ऑर्गेनिक खेती को लेकर बेहद उत्साहित नजर आए. इन सभी ने एक सुर में कहा कि किसानों की आय दोगुनी करने का सबसे बड़ा फार्मूला ऑर्गेनिक खेती है. अगर किसान वैज्ञानिक तरीके से ऑर्गेनिक खेती करेंगे तो यकीनन उनकी आय बढ़ेगी. वाकई में भारतीय कृषि प्रणाली अनुसंधान संस्थान का यह प्रयास रंग लाएगा और पीएम का सपना साकार करेगा.
पन्द्रह दिन तक भारतीय कृषि प्रणाली अनुसंधान संस्थान के वैज्ञानिक इन सभी को क्लास रूम ट्रेनिंग देंगे. उसके बाद इन्हें फील्ड में तैनात किया जाएगा. ऑर्गेनिक खेती को लेकर क्लास रूम ट्रेनिंग करने वाले हर शख्स के साथ एक मेंटर वैज्ञानिक हमेशा फोन पर उपलब्ध रहेगा. तकरीबन 8 महीने तक फील्ड में ऑर्गेनिक खेती करने के बाद इन सभी को एक सर्टिफिकेट भी दिया जाएगा. इस सर्टिफिकेट के मिलने के बाद ये एग्रीकल्चर एडवाइजर के रूप में कार्य कर सकेंगे और किसानों को ऑर्गेनिक खेती के गुर सीधे तौर पर बता सकेंगे.
भारतीय कृषि प्रणाली अनुसंधान संस्थान में वरिष्ठ वैज्ञानिक डॉक्टर पूनम कश्यप ने बताया कि आईआईएफएसआर मैनेज हैदराबाद के साथ मिलकर ऑर्गेनिक फॉर्मिंग का कोर्स करवाया जा रहा है. 2018-19 से यह कोर्स करवाया जा रहा है और 5 बैच अब तक पासआउट हो चुके हैं. 95 प्रतिभागी भाग ले चुके हैं, जिनमें 17 लोगों को सर्टिफाइड फार्म एडवाइजर का सर्टिफिकेट दिया जा चुका है. ये लोग ऑर्गेनिक फॉर्मिंग को और ज्यादा बढ़ावा दे रहे हैं. वर्तमान बैच 23 फरवरी से शुरू होकर 9 मार्च तक चलेगा.