हरीश रावत Vs हरक सिंह : सियासी झगड़े में जारी है जुबानी जंग, एक-दूसरे को बता रहे 'फुंका हुआ और जिंदा कारतूस'

उत्तराखंड के पूर्व मुख्यमंत्री हरीश रावत ने कैबिनेट मंत्री हरक सिंह रावत पर जुबानी हमला किया है. (फाइल फोटो: PTI)
जब बारी हरीश रावत की आई तो उन्होंने कहा कि कर्मकार, श्रमकार वाले हरक सिंह जी 'जिंदा कारतूस' हैं, जो स्टिंग डेटोनेटर के साथ विस्फोटक हो जाते हैं और किसी भी मुख्यमंत्री के लिए वे विस्फोटक हैं.
- News18Hindi
- Last Updated: January 21, 2021, 9:11 PM IST
देहरादून. सियासी झगड़े (Political fights) जब हों, तो जुबानी जंग छिड़ी रहती है. ऐसी ही जंग उत्तराखंड (Uttarakhand) के पूर्व सीएम हरीश रावत (Former CM Harish Rawat) और कैबिनेट मंत्री हरक सिंह रावत (Cabinet Minister harak singh rawat) के बीच अक्सर होती रहती है. उनके रिश्तों की तल्खियां जग जाहिर हैं. इस बार 'फुंके हुए कारतूस' (Empty cartridge) वाले हरक सिंह के बयान पर हरीश रावत ने बड़ा पलटवार किया है. उन्होंने हरक सिंह को स्टिंगवाला विस्फोटक बताया है.
खोखा बनाम कारतूस
राजनीति में वक्त बीतने के बाद भी कई बार रिश्ते नहीं सुधरते. ऐसा ही कुछ एक बार फिर दिखा है पूर्व सीएम हरीश रावत और कैबिनेट मंत्री हरक सिंह के बीच. पहले हरक सिंह ने मुख्यमंत्री का चेहरा बनाने वाली बात पर हरीश रावत को 'फुंका हुआ कारतूस' कहा और जब बारी हरीश रावत की आई तो उन्होंने बड़ा पलटवार करते हुए कहा कि कर्मकार, श्रमकार वाले हरक सिंह जी 'जिंदा कारतूस' (live cartridge) हैं, जो स्टिंग डेटोनेटर के साथ विस्फोटक हो जाते हैं और किसी भी मुख्यमंत्री के लिए वे विस्फोटक हैं. मौजूदा मुख्यमंत्री विस्फोट में उड़ते-उड़ते बचे. ऐसी कला हमें नहीं आती, इसलिए हम 'फुंके' हुए ही अच्छे हैं. इतना ही नहीं, दूसरी पार्टी के शुभचिंतक भी डरे रहते हैं.
2016 से चल रही जंग
आपको याद दिला दें कि साल 2016 में 10 कांग्रेसी नेता बागी हुए तो उनमें हरक सिंह रावत भी शामिल थे. वहीं स्टिंग सामने आने के साथ हरीश रावत की सियासत का गणित बिगड़ा. बीते 5 साल में हरदा यानी हरीश रावत और हरक सिंह में जुबानी जंग कई बार दिखी. लेकिन हरक सिंह का जो बयान हरीश रावत को चुभा, उसमें हरक सिंह रावत ने कहा था कि हरीश रावत अब 'फुंके हुए कारतूस' हो चुके हैं, कांग्रेस को चेहरा बनाने से कोई फायदा नहीं होगा. बात कांग्रेस में मुख्यमंत्री के चेहरे से शुरू हुई और फिर स्टिंग, विस्फोट, मुख्यमंत्री और कारतूस तक पहुंच गई. ऐसे में देखना दिलचस्प होगा कि खुद को 'फुंका कारतूस' मनाकर हरीश रावत ने जो बड़ा हमला किया है, उसका हरक सिंह क्या जवाब देते हैं?
खोखा बनाम कारतूस
राजनीति में वक्त बीतने के बाद भी कई बार रिश्ते नहीं सुधरते. ऐसा ही कुछ एक बार फिर दिखा है पूर्व सीएम हरीश रावत और कैबिनेट मंत्री हरक सिंह के बीच. पहले हरक सिंह ने मुख्यमंत्री का चेहरा बनाने वाली बात पर हरीश रावत को 'फुंका हुआ कारतूस' कहा और जब बारी हरीश रावत की आई तो उन्होंने बड़ा पलटवार करते हुए कहा कि कर्मकार, श्रमकार वाले हरक सिंह जी 'जिंदा कारतूस' (live cartridge) हैं, जो स्टिंग डेटोनेटर के साथ विस्फोटक हो जाते हैं और किसी भी मुख्यमंत्री के लिए वे विस्फोटक हैं. मौजूदा मुख्यमंत्री विस्फोट में उड़ते-उड़ते बचे. ऐसी कला हमें नहीं आती, इसलिए हम 'फुंके' हुए ही अच्छे हैं. इतना ही नहीं, दूसरी पार्टी के शुभचिंतक भी डरे रहते हैं.
2016 से चल रही जंग
आपको याद दिला दें कि साल 2016 में 10 कांग्रेसी नेता बागी हुए तो उनमें हरक सिंह रावत भी शामिल थे. वहीं स्टिंग सामने आने के साथ हरीश रावत की सियासत का गणित बिगड़ा. बीते 5 साल में हरदा यानी हरीश रावत और हरक सिंह में जुबानी जंग कई बार दिखी. लेकिन हरक सिंह का जो बयान हरीश रावत को चुभा, उसमें हरक सिंह रावत ने कहा था कि हरीश रावत अब 'फुंके हुए कारतूस' हो चुके हैं, कांग्रेस को चेहरा बनाने से कोई फायदा नहीं होगा. बात कांग्रेस में मुख्यमंत्री के चेहरे से शुरू हुई और फिर स्टिंग, विस्फोट, मुख्यमंत्री और कारतूस तक पहुंच गई. ऐसे में देखना दिलचस्प होगा कि खुद को 'फुंका कारतूस' मनाकर हरीश रावत ने जो बड़ा हमला किया है, उसका हरक सिंह क्या जवाब देते हैं?