अमेरिकी रक्षा कंपनियों ने वियतनाम के साथ सैन्य सौदे को लेकर चर्चा की. (सांकेतिक फोटो)
हनोई: अमेरिकी रक्षा फर्मों और वियतनाम के शीर्ष सरकारी अधिकारियों ने हेलीकॉप्टर और ड्रोन सहित सैन्य गियर की आपूर्ति पर चर्चा की है. वार्ता की जानकारी रखने वाले दो सूत्रों ने रायटर को बताया कि संकेत मिल रहे हैं कि वियतनाम रूसी हथियारों पर अपनी निर्भरता कम कर सकता है. यूएस-एशियन बिजनेस काउंसिल के अनुसार अमेरिकी रक्षा कंपनियां लॉकहीड मार्टिन (LMT.N), बोइंग (BA.N), रेथियॉन (RTX.N), टेक्सट्रॉन (TXT.N) और IM सिस्टम्स ग्रुप ने पिछले हफ्ते वियतनाम के अधिकारियों से मुलाकात की.
बताया गया कि यह प्रारंभिक वार्ता थी. जिसमें अभी कोई सौदा नहीं हुआ है. हालांकि दक्षिण पूर्व एशियाई राष्ट्र नए आपूर्तिकर्ताओं की तलाश में है. यूक्रेन संघर्ष के कारण दशकों से वियतनाम के मुख्य सैन्य साझेदार रहे रूस की क्षमताओं को प्रभावित किया है.
वियतनाम के सामने चुनौती
रॉयटर्स के अनुसार न्यू साउथ विश्वविद्यालय के एक सैन्य विशेषज्ञ और शोधकर्ता गुयेन द फुओंग ने कहा, “यह अमेरिकी हथियारों के लिए अधिक खुले विचारों वाली वियतनाम पीपुल्स आर्मी की शुरुआत है, और रक्षा में अमेरिका के साथ गहराई से जुड़ने की इच्छा है.”
सैन्य मामलों के विशेषज्ञों ने कहा कि अमेरिका के साथ सैन्य सौदे में वियतनाम के सामने कई तरह की संभावित बाधाएं भी हैं. जिसमें हनोई के चीन के साथ तनावपूर्ण संबंधों पर प्रभाव के बारे में चिंता होगी, हथियारों की ऊंची कीमतें, साथ ही बड़ा सवाल ये भी है कि क्या अमेरिका निर्मित प्रणालियों (सिस्टम्स) को वियतनाम के पुराने हथियारों के साथ एकीकृत किया जा सकता है.
वियतनाम ने साधी चुप्पी
बैठक में भाग लेने वाले एक व्यक्ति ने रॉयटर्स से कहा कि कंपनियों ने कई प्रकार के सैन्य गियर की पेशकश की और गैर-घातक उपकरणों के बारे में भी चर्चा की. जिसमें आंतरिक सुरक्षा के लिए हेलीकॉप्टर, साथ ही ड्रोन, रडार और हवा, समुद्र एवम अंतरिक्ष प्रणालियों पर नजर रखने के लिए अन्य प्रणालियां शामिल थीं. इस पूरे मसले पर वियतनाम के रक्षा और विदेश मंत्रालय ने कोई भी बयान नहीं दिया है.
इस मामले से परिचित एक दूसरे व्यक्ति ने कहा कि ड्रोन और हेलीकॉप्टरों पर बातचीत हथियारों के मेले से पहले शुरू हुई थी और इसमें अधिक हथियार शामिल थे. रक्षा कंपनी लॉकहीड मार्टिन, ने कार्यक्रम में लड़ाकू और सैन्य परिवहन विमानों का प्रदर्शन किया. हालांकि मार्टिन ने भी फिलहाल कोई टिप्पणी नहीं की है. इसके अलावा बोइंग, रेथियॉन, टेक्सट्रॉन और आईएम सिस्टम्स ग्रुप ने भी कोई बयान नहीं दिया है.
इजराइल दूसरा बड़ा विक्रेता
बताया गया कि लॉकहीड मार्टिन ने अलग से वियतनाम के साथ एक नए संचार और रक्षा उपग्रह के बारे में भी चर्चा की थी. पूरे मामले को लेकर हनोई में अमेरिकी दूतावास ने टिप्पणी करने से इनकार कर दिया, लेकिन राजदूत मार्क कन्नपर ने कहा है कि अमेरिका किसी भी सैन्य वस्तु पर चर्चा करने के लिए तैयार है, जिसे वियतनाम हासिल करना चाहता है. सैन्य मामलों के विशेषज्ञों ने कहा कि वियतनाम इजरायल, भारत और यूरोपीय और पूर्वोत्तर एशियाई देशों के आपूर्तिकर्ताओं के साथ सौदे पर भी विचार कर रहा है. पिछले एक दशक में, रूस के बाद इजरायल वियतनाम को हथियारों का दूसरा सबसे बड़ा विक्रेता रहा है.
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