कोविड-19 महामारी (Covid-19 Pandemic) के समय दुनिया में लॉकडाउन (Lockdown) ने पूरे संसार के आर्थिक गतिविधियों को रोक दिया था. और इसकी वजह से कार्बन उत्सर्जन में भी कमी आ गई थी. लेकिन नए अध्ययन में कहा गया है कि कोविड-19 का निर्वनीकरण यानि वनों की कटाई (Deforestation) पर कोई असर नही हुआ है और यह कार्य उसी तरह से होता रहा, जैसा कि पिछले 15 सालों से होता आ रहा था. इसके लिए शोधकर्ताओं ने कई देशों के 15 सालों के आंकड़ों का उपयोग किया है. (फाइल फोटो)
अलायंस ऑफ बायोडायवर्सटी इंटरनेशनल और CIAT की अगुआई में हुए अध्ययन में विशेषज्ञों ने 2004 से लेकर 2019 तक के टेरा-आई- पैन ट्रॉपिकल भूमि क्षेत्र (Terra-i pantropical land cover) बदलाव निगरानी तंत्र के निर्वनीकरण (Deforestation) आंकड़ों का उपयोग किया और एशिया अमेरिका और अफ्रीका के क्षेत्रीय स्तर के साथ और ब्राजील, पेरू, कोलंबिया, इंडोनेशिया, और डॉमिनीक रिपब्लिक ऑफ कांगो में देशीय स्तर के साथ पेड़ों के क्षेत्र (Tree cover) की हानि का विश्लेषण किया. (प्रतीकात्मक तस्वीर: Pixabay)
इस पड़ताल से खुलासा हुआ कि महामारी (Covid-19 Pandemic) के दौरान निर्वनीकरण (Deforestation) में थोड़ा बदलाव हुआ था. क्योंकि महामारी के पहले की जटिल गतिकी ने इस प्रक्रिया को जारी रखा, इस वजह से साल 2020 में लगे लॉकडाउन (Lockdown) के बावजूद भी इस प्रक्रिया पर कोई प्रभाव नहीं पड़ा. शोधकर्ताओं का कहना है कि जहां सरकारों का बहुत कम दखल है वहां महामारी के कारण लॉकडाउन के बावजूद गैरकानूनी निर्वनीकरण जारी रही. (प्रतीकात्मक तस्वीर: Pixabay)
इसके अलावा महामारी (Covid-19 Pandemic) के दौरान जंगलों पर भी आर्थिक दबावों के जरिए संतुलन स्थापित हो सकता था जिसमें मांग और आपूर्ति से संबंधित वैश्विक स्तर पर वृहद आर्थिक ताकतों और राष्ट्रीय स्तर पर जारी हुए आर्थिक पैकेज योगदान दे सकते थे. लेकिन शोधकर्ताओं का कहना है कि निर्वनीकरण (Deforestation) के इन नतीजों ने उन्हें हैरान नहीं किया है. (प्रतीकात्मक तस्वीर: Pixabay)
शोधकर्ताओं का कहना है कि निर्वनीकरण (Deforestation) दरअसल प्रमुख रूप से चरने वाले मवेशियों (livestock) की संख्या,मवेशियों के उत्पादन संबंधित मांग जो लॉकडाउन (Lockdown) के दौरान भी कायम रही, इनसे प्रभावित होता है. लॉकडाउन के दौरान लोगों के खाने खाने के तरीको में बदलाव देखने को मिला, लेकिन समान्यतः यह संसाधित भोजन और औद्योगीकृत कृषि पर विश्वसनीयता के कारण हुआ था. (प्रतीकात्मक तस्वीर: shutterstock)
भारतीय ओपनर का BCCI को करारा जवाब, टीम से हुआ बाहर, अब खेली 249 रन की पारी
सहेली के पति को कैसे दिल दे बैठीं कृतिका, अरमान मलिक से शादी पर आज भी मिलते हैं ताने, रहती हैं बहनों जैसे
दूसरे पर पानी गिराना होता है गुडलक, हैपी बर्थडे कहने को मानते हैं अपशकुन! दुनिया में ऐसे भी हैं अंधविश्वास
सनी लियोनी से मिया खलीफा तक, बोल्डनेस में साउथ एक्ट्रेस ने इन्हें भी छोड़ा पीछे, बाथरूम में किया ये काम!