मध्य प्रदेश के रतलाम जिले के पास गोठड़ा गांव में 30 मार्च को मां महिषासुर मर्दिनी के मंदिर पर वार्षिक भविष्यवाणी का आयोजन किया गया. यहां मां महिषासुर मर्दिनी ने मंदिर के पंडा के मुख से कई भविष्यवाणियां कीं. इनमें कृषि और मौसम से संबंधित भविष्यवाणी तो थी ही, साथ ही राजनीतिक हेराफेरी भी बात की गई. मां ने कहा कि प्रदेश के नेता इधर से उधर होंगे, लेकिन राजा नहीं बदलेगा. इस दौरान लोगों की भारी भीड़ यह भविष्यवाणी सुनने पुहंची थी. चुनावी साल होने के चलते कई नेता भी मां के मुख से निकली बात सुनने पहुंचे थे.
हर साल होने वाले इस आयोजन में लोगों की आस्था लगातार बढ़ती जा रही है. खासकर, किसान और आम लोग मां की हर बात को गंभीरता से सुनते हैं. लोगों का कहना है कि मां के मुख से निकलने वाली हर बात सच साबित हुई है. गोठड़ माता ने पंडा के मुख से बताया कि इस साल खंडित वर्षा होगी. इसकी वजह से किसानों को बोनी में दिक्कतों का सामना करना पड़ेगा. लेकिन, खंडित वर्षा से किसानों को फायदा होगा.
वहीं, माता ने कहा कि वर्षा काल के आखिरी दौर में खूब बारिश होगी. इस वर्ष चुनावी साल होने की वजह से कई लोगों के मन में राजनीतिक प्रश्न भी थे. इस पर गोठड़ा माता ने कहा कि प्रदेश में राजनीतिक हेरफेर होगा. लेकिन, प्रदेश का राजा नहीं बदलेगा. दरअसल, उज्जैन जिले की खाचरोद तहसील के गोठड़ा गांव में हर साल मलेनी नदी के तट पर मां महिषासुर मर्दिनी की भविष्यवाणी का आयोजन किया जाता है.
ऐसी मान्यता है कि माता के इष्ट प्राप्त पंडित के मुख से माता स्वयं भविष्यवाणी करती हैं. इस भविष्यवाणी में खासकर कृषि, मौसम मुहूर्त और फसलों के दाम संबंधित सटीक भविष्यवाणी की जाती है. वर्षों से लोगों की इस भविष्यवाणी में गहरी आस्था है. यही वजह है कि केवल आसपास के जिलों से ही नहीं, बल्कि गुजरात और राजस्थान से भी गोठड़ा माताजी की भविष्यवाणी सुनने के लिए श्रद्धालु और किसान यहां पहुंचते हैं.
इस बार गोठड़ा माता की भविष्यवाणी में किसान, आम जनता से लेकर राजनेता भी पहुंचे. खाचरोद विधानसभा के पूर्व विधायक दिलीप सिंह शेखावत और वर्तमान विधायक दिलीप गुर्जर अपने-अपने समर्थकों के साथ माता की भविष्यवाणी सुनने पहुंचे थे. माता की भविष्यवाणी में दोनों ही राजनेताओं ने अपनी गहरी आस्था व्यक्त की है.
हालांकि, राजनीतिक भविष्यवाणी को लेकर दोनों ने अपने-अपने अर्थ निकाले हैं. देश और प्रदेश के राजा बदलने के प्रश्न पर माता की भविष्यवाणी में यह कहा गया कि हेरफेर और उठापटक खूब होगी लेकिन राजा नहीं बदलेगा. बहरहाल, वर्षों से चली आ रही इस भविष्यवाणी की परंपरा में लोगों की आस्था इतनी है कि हर बार नवमी के दिन होने वाले इस आयोजन में हजारों की संख्या में लोग यहां पहुंचते हैं.
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