ऑस्ट्रेलिया की सरजमीं पर अपने पहले टेस्ट में शानदार गेंदबाजी करने के बाद भारतीय स्पिनर कुलदीप यादव ने कहा कि उन्हें टेस्ट गेंदबाज के तौर पर खुद को निखारने के लिए थोड़े और वक्त की जरूरत है. उन्होंने इस दौरान कहा कि उनके विकास के लिए रेड गेंद क्रिकेट खेलना महत्वपूर्ण है. 24 साल के इस लेफ्ट आर्म स्पिनर ने 5 विकेट झटके और ऑस्ट्रेलिया को खासा परेशान किया. यह उनका टेस्ट में दूसरा पांच विकेट हॉल है. इससे पहले टीम इंडिया ने 622-7 के स्कोर के साथ अपनी पारी घोषित की थी.
लॉर्ड्स टेस्ट के बाद पहला टेस्ट खेल रहे कुलदीप ने कहा कि वह इस टेस्ट में गेंदबाजी करने के पहले थोड़ा नर्वस थे. उन्होंने कहा, "ईमानदारी से कहूं तो मैं ऑस्ट्रेलिया में गेंदबाजी करने के दौरान कुछ नहीं बदला. मैं इस टेस्ट सीरीज में अपना पहला टेस्ट खेल रहा था इसलिए थोड़ा नर्वस था." उन्होंने आगे कहा, "मैंने इतनी क्रिकेट खेल ली है कि मुझे ठीक ठाक ज्ञान हो गया है लेकिन टेस्ट क्रिकेट में खुद को तराशने के लिए मुझे थोड़ी और समय की जरूरत है. आप जितना लाल गेंद से खेलोगे उतना ही बेहतर करोगे." कुलदीप ने कहा कि जितने आप मैच खेलते हो उतने बेहतर होते जाते हो. उन्होंने कहा, "टेस्ट क्रिकेट में जितना ज्यादा आप खेलते हो उतने बेहतर होते जाते हो बल्लेबाज को प्लान करने के लिए आपके पास पर्याप्त समय रहता है. आप ज्यादा ओवर फेंक सकते हैं और फील्ड बदल सकते हैं.
"जब आप सीमित ओवर क्रिकेट खेलने के बाद टेस्ट खेलते हैं तो ज्यादा प्रेशर रहता है. आपको बतौर लेग स्पिनर 10 दिनों की जरूरत होती है ताकि आप अपना दिमाग बदल सकें और चीजों को कंट्रोल कर सकें. अगर आप नेट पर गेंदबाजी कर रहे हैं तो आप अपने आपको थोड़ा बेहतर कर सकते हैं. लेकिन अगर आप ज्यादा मैच खेलते हैं तो ज्यादा बेहतर कर सकते हैं. क्योंकि चार दिवसीय मैच, टेस्ट क्रिकेट वनडे से बिल्कुल अलग हैं. कुलदीप ने बताया कि कैसे वह अपनी स्पिन के बेसिक्स पर बरकरार रहे और बल्लेबाजों को फ्लाइट से बीट किया. इस दौरान उन्होंने कुछ ज्यादा करने की कोशिश नहीं की. उन्होंने कहा, "जब बल्लेबाज आपको पढ़ रहा होता है तो थोड़ा कठिन होता है लेकिन आपको हर दिन सीखना जरूरी होता है और मैं हर दिन सीख रहा हूं. इंग्लैंड दौरा मेरे लिए चैलेंजिग था खासतौर पर लॉर्ड्स टेस्ट. उसके बाद मैंने अपनी गेंदबाजी को लेकर अपने कोच के साथ काम किया है."
"स्पिनर के लिए जरूरी है कि वह स्पिन गेंदबाजी के बेसिक्स को ध्यान में रखे- थोड़ा फ्लाइट दे और गेंद को सही जगह पर टर्न कराए और बल्लेबाज को हवा में बीट कराए. यही मेरे लिए अहम है और मैं उस पर ही काम कर रहा हूं. मुझे मिस्ट्री स्पिन में यकीन नहीं है. मैं बल्लेबाज को हवा में बीट करने पर ज्यादा यकीन करता हूं." कुलदीप ने अपनी फ्लाइट के जरिए ख्वाजा और पेन के विकेट झटके. उन्होंने कहा, "मैं ख्वाजा को रॉन्ग वन्स फेंकने के बारे में सोच रहा था. कुछ ओवरों पहले मैं ओवर द विकेट गेंदें फेंक रहा था. मुझे पता था कि वह मेरे ऊपर प्रहार करेंगे. मैं लकी था कि रॉन्ग वन सही क्षेत्र में गिरी और उन्होंने मिड विकेट में शॉट मारा."
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