मेरठ के कमिश्रनरी पार्क पर पुलिसकर्मियों की फौज आज एक बेज़ुबान की सेवा में जुटी नज़र आई. यहां कोई पुलिसवाला ठंड से अकड़ चुके एक कुत्ते के लिए आग जलाता नज़र आया तो कोई उसे चाय पिलाता हुआ.
दरअसल, ठंड की वजह से ये बेज़ुबान अकड़ गया था. उसका हाथ पैर में कोई हलचल नहीं थी. ऐसा लग रहा था कि बस चंद मिनटों में ही ये दम तोड़ देगा. लेकिन तभी कुछ पुलिसकर्मियों की नज़र इस बेज़ुबान पर पड़ी. और फिर शुरू हुआ कुत्ते की जान बचाने का रेस्कयू ऑपरेशन.
इस कुत्ते की जान बचाने के लिए कम से कम एक दर्जन पुलिसकर्मी जुट गए. कोई अकड़े हुए इस श्वान के लिए आग जला रहा था तो कोई फटाफट चाय लेकर आ गया. आग और चाय की गर्मी की वजह से ठंड से अकड़े हुए कुत्ते में हलचल शुरु हुई . उसके हाथ पैर हिलने लगे तो पुलिसकर्मियों के चेहरे पर ऐसा सुकून देखने को मिल रहा था.
कुत्ते के जब हाथ पैर हिलने लगे तो ख़ाकीवर्दीधारियों ने उसे अपने दंगा नियंत्रण वाहन से अस्पताल तक पहुंचाया.आखिरकार इस कुत्ते की जान बच गई. जितने भी लोगों ने पुलिस के इस रूप को देखा वो ख़ाकी की तारीफ करते नहीं थक रहे थे.
दरअसल, मेरठ के कमिश्नरी पार्क पर ये कुत्ता कई दिनों से इन्हीं पुलिसकर्मियों के साथ ही रहता है. कभी कोई पुलिसवाला इसके लिए बिस्कुट लेकर आता तो कभी कोई ब्रेड मक्खन. इसके साथ रहते रहते ये कुत्ता चौराहे पर तैनात पुलिसकर्मियों के लिए घर के सदस्य जैसा हो गया था.