ट्विन टावर्स गिरने से अन्य बिल्डिंग में कोई नुकसान नहीं, 3 महीनों में हट जाएगा मलबा
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Supertech Twin Towers: सुपरटेक के अवैध ट्विन टावरों (Supertech Twin Towers) को गिराने का काम देख रही एडिफिस इंजीनियरिंग के चेयरमैन उत्कर्ष मेहता ने News18 से खास बातचीत में बताया कि ग्राउंड वाइब्रेशन के कारण किसी बिल्डिंग को नुकसान नहीं हुआ है. हमें जो भी परिणाम आए हैं उससे हम बहुत संतुष्ट हैं.

नोएडा (उप्र). सुपरटेक के अवैध ट्विन टावरों (Supertech Twin Towers) को गिराने का काम देख रही एडिफिस इंजीनियरिंग के चेयरमैन उत्कर्ष मेहता ने News18 से खास बातचीत में बताया कि ग्राउंड वाइब्रेशन के कारण किसी बिल्डिंग को नुकसान नहीं हुआ है. हमें जो भी परिणाम आए हैं उससे हम बहुत संतुष्ट हैं. रेजिडेंट्स बिल्डिंग में आज रात गुजार सकते हैं. उन्होंने बताया कि कंपन के लिए हमने 20 लगभग उपकरण लगाए थे. इसके डेटा का अध्ययन 2 हफ्ते में होगा. ATS की बाउंड्री में थोड़ा मलबा गया है जो कि 8 मीटर दूर था.
उत्कर्ष मेहता ने कहा कि मलबा हटाने के लिए हमें तीन महीने दिए गए हैं. उम्मीद हैं हम इस समय में काम पूरा कर लेंगे. थोड़े बहुत ग्लास टूटे हुए हैं, इसे हम फिक्स कर लेंगे. 9 मीटर दूर टावर पर नुकसान नहीं हुआ है. किसी भी अन्य बिल्डिंग में कोई नुकसान नहीं हुआ है. गौरतलब है कि नोएडा के सेक्टर 93ए में स्थित सुपरटेक के ट्विन टावर्स को रविवार दोपहर गिरा दिया गया. अवैध रूप से निर्मित इस ढांचे को ध्वस्त करने के उच्चतम न्यायालय के आदेश के साल भर बाद यह कार्रवाई की गई. लगभग 100 मीटर ऊंचे टावर को विस्फोट कर चंद सेकेंड में धराशायी कर दिया गया.
तकरीबन अनुमानित 80 हजार टन मलबा निकला
परियोजना के अधिकारियों द्वारा तैयार किए गए आकलन के अनुसार, एपेक्स (32 मंजिला) और सियान (29 मंजिला) इमारतों के ध्वस्त होने से तकरीबन अनुमानित 80 हजार टन मलबा निकला है. नोएडा प्राधिकरण के महाप्रबंधक (योजना) इश्तियाक अहमद ने कहा कि 21,000 क्यूबिक मीटर मलबे को वहां से हटाया जाएगा और 5 से 6 हेक्टेयर की एक निर्जन जमीन पर फेंका जाएगा तथा बाकी मलबा ट्विन टावर के बेसमेंट में भरा जाएगा, जहां एक गड्ढा बनाया गया है. जबकि मेहता ने बताया कि ट्रक मलबे को लेकर करीब 1,200 से 1,300 फेरे लगाएंगे. हालांकि, पूरा मलबा बेकार नहीं जाएगा. इसमें से तकरीबन 4,000 टन लोहा और इस्पात निकलेगा, जिसका इस्तेमाल एडिफिस ध्वस्तीकरण की लागत वसूलने के तौर पर करेगी. नोएडा प्राधिकरण का भी सेक्टर 80 में निर्माण और ध्वस्त कचरा प्रबंधन संयंत्र है, जिसमें हर दिन 3000 टन कचरे का निस्तारण करने की क्षमता है. हालांकि, अभी यह स्पष्ट नहीं है कि इस मलबे का वहां पर निस्तारण किया जाएगा या नहीं.
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