अमेरिका के आगे नहीं झुकेगा भारत, S-400 डील के बाद ईरान से तेल आयात भी रखेगा जारी
इंडियन ऑइल कॉर्पोरेशन (IOC) और मंगलोर रिफाइनरी ऐंड पेट्रोकेमिकल्स लिमिटेड (MRPL) ने नवंबर में ईरानी तेल के आयात के लिए 1.25 मिलियन टन का करार किया है.
अमेरिका की तमाम धमकियों को नज़रअंदाज करते हुए भारत ने रूस से S-400 मिसाइल डील की. अब भारत ने अमेरिका को दूसरा झटका दिया है. भारत ने साफ संकेत दिए हैं कि वह अमेरिकी प्रतिबंधों के बावजूद ईरान के साथ कारोबार जारी रखेगा. सरकारी रिफाइनर्स ने ईरान से 1.25 मिलियन टन क्रूड ऑयल खरीदने के लिए करार किया है. यही नहीं भारत ने अमेरिकी डॉलर में पेमेंट की जगह रुपये में कारोबार करने की दिशा में भी कदम बढ़ाने की तैयारी कर ली है.

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दरअसल, अमेरिका 4 नवंबर से ईरान से तेल खरीदने वाले देशों के लिए अपने प्रतिबंधों को पूरी तरह प्रभावकारी बना देगा. हालांकि, ईरान के खिलाफ प्रतिबंध अमेरिका का द्विपक्षीय मसला है, लेकिन अमेरिका इसमें पूरी दुनिया को खींच चुका है. अमेरिका का साफ कहना है कि नवंबर के बाद अगर किसी देश ने ईरान के साथ बिजनेस जारी रखा, वो अमेरिका के साथ बिजनेस नहीं कर पाएगा. हालांकि, भारत ने ईरान के साथ बिजनेस जारी रखने का फैसला लिया है. ऐसे में रूस से S-400 डील के बाद यह एक तरह से भारत द्वारा अमेरिका को दिया गया दूसरा झटका होगा.
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सूत्रों का कहना है कि IOC सामान्य मात्रा में ईरान से हर महीने तेल खरीद रहा है. वित्त वर्ष 2018-19 में (अप्रैल 2018 से मार्च 2019) इसने 9 मिलियन टन ईरानी तेल आयात करने की योजना बनाई है. इसका मतलब यह हुआ कि IOC एक महीने में 0.75 मिनिय टन तेल खरीद रहा है.
बता दें कि भारत कम मात्रा में ही सही पर ईरान से तेल आयात को जारी रखना चाहता है. पिछले महीने अमेरिका के विदेश मंत्री माइक पोम्पियो ने कहा था कि वॉशिंगटन प्रतिबंध पर छूट को लेकर विचार करेगा, लेकिन अगर ऐसा किया गया, तो इसकी समयसीमा तय होगी.
भारत और ईरान के बीच व्यापार
- भारत और ईरान के बीच 13 बिलियन डॉलर का व्यापार है, जिसमें 10.5 बिलियन डॉलर का क्रूड भारत आयात करता है जबकि 2.5 बिलियन डॉलर के सामान, मशीनरी और कमोडिटीज ईरान को निर्यात करता है.
- भारत से चावल, मशीनरी, इंस्ट्र्मेंट्स, आयरन और स्टील, टैक्सटाइल्स, दवाएं और चाय आदि ईरान को निर्यात करता है
- ईरान क्रूड़ के अलावा भारत को फल और ड्राइफ्रूट्स भी बेचता है
- भारत और ईरान में व्यापार रुपए और रियाल में होता है. (एजेंसी इनपुट के साथ)