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 road accidents में केरल मॉडल अपना कर बचाई जा सकती है हजारों जानें,क्‍या है मॉडल

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Ministry of road transport की रोड  एंड रिसर्च विंग की रिपोर्ट के अनुसार देश में प्रति वर्ष करीब 4.5 लाख road accident में करीब एक तिहाई (137689) लोगों की जान जाती है. लेकिन केरल (Kerala) में कुल सड़क हादसों में तुलना में केवल 10 फीसदी ही जानें जाती हैं.

 road accidents में केरल मॉडल से बचाई जा सकती है हजारों जानें,क्‍या है मॉडलकेरल में सड़क हादसों की तुलना में केवल 10 फीसदी लोगों की मौत होती है.
नई दिल्‍ली. सड़क हादसों (road accident) में सबसे ज्‍यादा के गंभीर रूप से घायल (grievous injury) केरल (Kerala)में होते हैं. वहीं, सड़क हादसों के मामले में यह राज्‍य देश में चौथे नंबर पर है. लेकिन अच्‍छी बात यह है कि इतने अधिक गंभीर रूप से घायल होने और हादसों के बावजूद मौत (death) का आंकड़ा दूसरे राज्‍यों की तुलना काफी कम है. सड़क हादसों की तुलना में यहां केवल 10 फीसदी मौत होती है, जबकि दूसरे राज्‍यों में 20 से 25 फीसदी तक मौतों का आंकड़ा जाता है. इस संबंध में रोड सेफ्टी के एक्‍सपर्ट, ट्रामा सेंटर के डाॅक्‍टर और ट्रांसपोर्ट कमिश्‍नर का मानना है कि बेहतर ट्राॅमा केयर (Trauma care) और ट्रैफिक रूल्‍स (traffic rules) को लेकर सख्‍ती इसका प्रमुख कारण है.

सड़क परिवहन मंत्रालय (Ministry of road transport) की ट्रांसपोर्ट रिसर्च विंग (transport Research Wing) की रिपोर्ट के अनुसार केरल (Kerala) में गंभीर रूप से घायल (grievous injury) की संख्‍या सालाना करीब 29569 है, जो देश में सबसे अधिक है. वहीं, अगर इस राज्‍य में होने वाले सड़क हादसों का आकंड़ा देखें तो तमिलनाडु, मध्‍य प्रदेश और उत्‍तर प्रदेश के बाद केरल का चौथा स्‍थान है,  जहां पर एक वर्ष में 41111 सड़क होते हैं. इसके बावजूद सड़क हादसों की वजह से 4183 लोग जान गंवाते हैं. इस मामले में राज्‍य का देश में  6वां नंबर है.
अगर गंभीर रूप से घायल और मौत की तुलना करें तो यह आंकड़ा 14 फीसदी के करीब निकलता है. दूसरा नंबर गंभीर रूप से घायलों में कर्नाटक है, यहां पर गंभीर रूप से घायलों की तुलना में मौत होने वालों का आंकड़ा 57 फीसदी से अधिक है. हालांकि सड़क हादसों तमाम लोगों की मौके पर ही मौत हो जाती है, लेकिन गंभीर रूप से घायलों को समय से ट्रामा केयर मिल जाए तो तमाम लोगों की जान बचाई जा सकती है. यह बात एक्‍सपर्ट और तमाम रिपोर्ट बताती हैं. सड़क परिवहन मंत्री नितिन गडकरी स्‍वयं सड़क हादसों पर चिंता जता चुके हैं और इन्‍हें कम करने का लगातार प्रयास कर रहे हैं.

केरल में सड़क हादसों की तुलना 10 फीसदी की होती हैं मौत
केरल राज्‍य में सड़क हादसों की तुलना केवल 10 फीसदी लोग मारे जाते हैं, जबकि अन्‍य राज्‍यों में  सड़क हादसों की तुलना में 20 से 25 फीसदी तक मौतें होती हैं. केरल में 4111 सड़क हादसों में 4183 यानी 10 फीसदी के आसपास मौत होती है, जबकि तमिलनाडु, मध्‍यप्रदेश, उत्‍तर प्रदेश में यह आंकड़ा 20  से 25 फीसदी तक जा रहा है. इस तरह गंभीर घायल और सड़क हादसों की दोनों की तुलना में केरल में मौतें कम होती हैं.

जानें केरल मॉडल
ट्रैफिक नियमों का कड़ाई से पालन

केरल के पूर्व पुलिस महानिदेशक (DGP) और ट्रांसपोर्ट कमिश्‍नर (transport commissioner) ऋषि राज सिंह ने बताया कि केरल में ट्रैफिक नियमों (traffic rules) का कड़ाई से पालन होना सड़क हादसों में मौत कम होने का एक कारण है. उन्‍होंने बताया कि सड़क हादसों में ज्‍यादातर मौत हेडइंजरी के कारण होती हैं. केरल में हेल्‍मेट और सीट बेल्‍ट का सख्‍ती से पालन कराया जाता है, इस वजह से सड़क हादसों में व्‍यक्ति गंभीर रूप से घायल तो होता है लेकिन सिर सुरक्षित होने की वजह से जान बच जाती है.
प्रतीकात्मक तस्वीर. (फाइल)
बेहतर ट्रामा केयर बचाता है जान
सेव लाइफ फाइउंडेशन (Save Life Foundation) के सीईओ पीयूष तिवारी बताते हैं  कि केरल में गंभीर रूप से घायल होने के बाद मौत कम होने का एक बड़ा कारण घायल को समय पर ट्रामा केयर (Trauma Care) मिलना है. इसमें एंबुलेंस अस्‍पताल और उपचार सभी चीजें शामिल हैं. केरल में प्राइमरी हेल्‍थ सेंटरों में भी अच्‍छी मेडिकल सुविधाएं होती हैं, जिससे घायल व्‍यक्ति को वहां पर प्राइमीर चिकित्‍सा मिलनी शुरू हो जाती है.

प्रतीकात्‍मक तस्‍वीर
गलत तरीके से अस्‍पताल या ट्रामा सेंटर पहुंचाने से भी होती है हालत खराब

इंडियन स्‍पाइनल इंजरी सेंटर (Indian Spinal Injury Center) के निदेशक डॉ. एचएस डाबड़ा बताते हैं कि कई बार सड़क हादसों में घायल को अस्‍पताल या ट्रामा सेंटर तक पहुंचाने के लिए समय पर एंबुलेंस नहीं मिल पाती है, तो लोग दोपहिया, आटो या फिर निजी वाहन से अस्‍पताल ले जाते हैं. कई बार सही तरीके अस्‍पताल न पहुंच पाने की वजह से भी घायल की हालत और खराब हो जाती है.
टॉप 5 राज्‍यों में सड़क हादसे और मौतों का आंकड़ा

प्रदेश                            एक्‍सीडेंट                                   मौत
तमिलनाडु                     57228                                     9813

मध्‍यप्रदेश                     50669                                     10182
उत्‍तर प्रदेश                   42572                                     19731

केरल                          41111                                     4183
कर्नाटक                       40658                                     10060

टॉप 5 गंभीर रूप से घायल और मौंतों का आंकड़ा
प्रदेश                    घायलों की संख्‍या                      मौत

केरल                            29569                         4183
कर्नाटक                       17487                         10060

उत्‍तर प्रदेश                   13651                         19731
महाराष्‍ट्र                       12197                         11787

गुजरात                         5826                           6726
स्रोत: सड़क परिवहन मंत्रालय के उपलब्‍ध आंकड़े.

About the Author

शरद पाण्डेयविशेष संवाददाता
नेटवर्क 18 से पहले दैनिक भास्कर के नेशनल ब्यूरो में कार्यरत रहे. रेलवे, एविएशन, रोड ट्रांसपोर्ट और एग्रीकल्चर जैसी महत्वपूर्ण बीट्स पर रिपोर्टिंग की. दैनिक भास्कर से पहले हिन्दुस्तान में रिपोर्टिंग कर चुके हैं....और पढ़ें
नेटवर्क 18 से पहले दैनिक भास्कर के नेशनल ब्यूरो में कार्यरत रहे. रेलवे, एविएशन, रोड ट्रांसपोर्ट और एग्रीकल्चर जैसी महत्वपूर्ण बीट्स पर रिपोर्टिंग की. दैनिक भास्कर से पहले हिन्दुस्तान में रिपोर्टिंग कर चुके हैं.... और पढ़ें
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